
ईंट-भट्टा ।
-निर्धारित समय-सीमा के बाद प्राप्त सुझावों या आपत्ति पर विचार नहीं करेगी सरकार
हनुमानगढ़. राजस्थान राज्य प्रदूषण नियंत्रण मंडल ने हनुमानगढ़ जिले के सभी ईंट-भट्टा संचालकों से संचालन संबंधी नियमों के सुधार व स्पष्टता को लेकर लिखित सुझाव मांगे हैं। मंडल की ओर से जारी निर्देशों में राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण (एनजीटी) के आदेशों तथा राज्य सरकार की गाइडलाइन के मद्देनजर भट्टों के संचालन नियमों की पुन:पुष्टि की गई है। क्षेत्रीय अधिकारी सुधीर यादव ने बताया कि जिले में ईंट-भट्टों में जलाई (फायरिंग) गतिविधियों की समय सीमा छह माह, अर्थात् एक नवम्बर से 30 जून तक रखने का प्रस्ताव है। इस अवधि में बिना किसी अंतराल के फायरिंग की अनुमति देने के संबंध में संचालकों से सुझाव आमंत्रित किए गए हैं। यादव ने बताया कि ईंट-भट्टा मालिक अपने सुझाव या आपत्तियां लिखित रूप में निर्धारित तिथि 27 नवम्बर तक जमा करा सकते हैं। निर्धारित समय सीमा के बाद प्राप्त किसी भी सुझाव या आपत्ति पर विचार नहीं किया जाएगा। प्रदूषण नियंत्रण मंडल ने भट्टा संचालकों से आग्रह किया है कि वे प्रस्तावित नियमों पर अपनी राय अवश्य दें। ताकि क्षेत्र में पर्यावरणीय मानकों का पालन सुनिश्चित करते हुए औद्योगिक गतिविधियां सुव्यवस्थित ढंग से संचालित हो सकें।
जिले में इतने चल रहे
सरकार ने ईंट भट्टों पर जिग-जैग लगाने को लेकर जून 2026 तक छूट प्रदान कर दी है। हनुमानगढ़ जिले में कुछ ईंट भट्टों ने इस तकनीक को अपना भी लिया है। बताया जा रहा है कि जिले में करीब 55 भट्टा संचालकों ने जिग-जैग तकनीक का उपयोग करके भट्टे तैयार करवा लिए हैं। जून 2026 तक इस तकनीक को नहीं अपनाने पर सरकार सख्ती कर सकती है। इससे भ_ा संचालक मुसीबत में फंस सकते हैं। जिले में करीब 400 ईंट भट्टों का संचालन हो रहा है।
Published on:
19 Nov 2025 10:44 am
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