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Hathras Gangrape Case: अदालत ने नहीं माना रेप, तीन आरोपियों को किया बरी, एक को उम्रकैद

Hathras Rape Case में Boolgarhi की Special SC-ST Court ने 3 आरोपी को बरी और एक को दोषी करार दिया है।

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 All four accused relesed in hathras rape case

Special SC-ST Court

Hathras Rape Case मामले गुरुवार को SC-ST कोर्ट ने फैसला सुनाया है। कोर्ट ने गैंगरेप केस में फैसला देते हुए 3 आरोपियों को बरी कर दिया है। जबकि, एक आरोपी को दोषी करार देते हुए उम्रकैद की सजा सुनाई है। SC-ST कोर्ट यह फैसला ढाई साल बाद सुनाया है।

29 सितंबर 2020 को पीड़ित लड़की की हुई थी मौत
दरअसल, 14 सितंबर 2020 को Hathras में एक दलित लड़की के साथ कुछ लड़कों ने Gangrape किया था। इसके बाद उस लड़की को खराब हालत में परिवार ने दिल्ली के सफदरगंज हॉस्पिटल में भर्ती कराया था। इस घटना के करीब 15 दिन बात यानी 29 सितंबर को पीड़ित लड़की की मौत हो गई।

गुरुवार को SC-ST कोर्ट ने फैसला सुनाया है। कोर्ट ने अपने फैसले में आरोपी रहे लवकुश, रामू और रवि को बरी कर दिया है। वहीं, कोर्ट ने एक आरोपी संदिप को दोषी करार दिया है। कोर्ट ने आरोपी संदिप को धारा 304 और SC-ST Act में दोषी पाया है।

वकील ने कहा हाईकोर्ट में करेंगे अपील
पीड़ित पक्ष के वकील महिपाल सिंह ने कहा, "कोर्ट ने तीन आरोपियों को बरी किया है। संदीप को धारा 304 और SC-ST Act के तहत दोषी माना है। उसे उम्रकैद की सजा हुई है। हाथरस गैंगरेप को कोर्ट ने क्यों नहीं स्वीकार किया, ये जजमेंट की कॉपी मिलने के बाद पता चलेगा। जजमेंट की कॉपी पढ़ने के बाद हम High Court में अपील करेंगे।"

पीड़िता ने 4 युवकों पर लगाया था आरोप
Court के इस फैसले से पीड़ित परिवार खुश नहीं है। पीड़ित परिवार ने बूलगढ़ी कोर्ट के इस फैसले के खिलाफ हाईकोर्ट जाने की बात कही है। ये केस पीड़िता के बयान के आधार पर दर्ज हुआ था। पीड़िता ने 4 युवकों पर आरोप लगाया था। आरोप के बाद पीड़िता ने संदीप, रामू, लवकुश और रवि को दोषी ठहराया था। साथ में उनके खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई की मांग की थी।

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इसके बाद हाथरस पुलिस ने इन्हें गिरफ्तार किया। इस घटना के बाद यूपी पुलिस पर कई सवाल खड़े किए गए। इस केस में पुलिस पर आरोप है कि पीड़ित परिवार को बताए बिना ही लड़की का अंतिम संस्कार कर दिया था। जबकि पुलिस ने पोस्टमार्टम के आधार पर दावा किया था कि पीड़िता के साथ गैंग रेप नहीं हुआ है।