
इंदौर . मैं एक बार जिस चीज की शुरुआत कर देती हूं उस काम को जब तक खत्म नहीं कर लेती तब तक हार नहीं मानती हूं। मुझे लगता है कि लाइफ में कभी गिवअप नहीं करना चाहिए। यह कहना है बॉलीवुड में फिल्म ‘द रैली’ से डेब्यू करने जा रही एक्ट्रेस अर्शिन मेहता का। वह सोमवार को फिल्म के प्रमोशन के लिए इंदौर में थी।
पत्रिका से विशेष बातचीत में उन्होंने कहा कि बचपन से एक्टिंग में ही कॅरियर बनाना चाहती थी, लेकिन १२वीं में अच्छे परसेंटेज आने के कारण घर वालों ने एकेडमिक्स में जाने के लिए कहा। फिर मैंने सीए शुरू कर दिया। एक बार जब प्रिपरेशन शुरू की तो समझ में आया कि सीए बनना कितना मुश्किल है। मैंने गिवअप नहीं किया। मुझे लगता है कि एक बार अगर आप गिवअप कर देते है तो अगली बार जब भी कोई मुश्किल काम आता है तो इंसान बिना मेहनत किए ही छोड़ देता है।
इस फिल्म को साइन करने से पहले मैंने लगभग एक हजार ऑडिशन दिए होंगे। इनमें टीवी कमर्शियल, फिल्म और सीरियल्स शामिल हैं। टीवी कमर्शियल में तो मुझे काफी पहले काम मिलने लगा था, लेकिन फिल्मों में अब मौका लगा। इस पूरी कोशिश में मैंने यही सोचा कि ऑडिशन मुझे कुछ न कुछ सिखा रहे हैं। शर्लिन ने बताया कि इंदौर से पुराना नाता है। मेरी मम्मी इंदौर की रहने वाली है। ऐसे में वह बचपन में काफी इंदौर आती थी और इंदौर का फूड पसंद है।
४.५ साल तक ऑडिशन
फिल्म से बॉलीवुड में डेब्यू करने जा रहे मिर्जा ने कहा कि ४.५ साल तक ऑडिशन देने के बाद यह फिल्म मिली है। इतने लंबे समय में मैं काफी निराश हो चुका था। ऐसे में एक दिन मुझे फोन आया कि निर्माता दीपक आनंद को मेरे फोटोग्राफ्स पसंद आए हैं और वे ऑडिशन के लिए बुला रहे हैं। ऐसे में एक दिन तो मैं मिलने ही नहीं गया। दूसरे दिन गया तो दीपक आनंद से ५-१० मिनट बात। उन्होंने कहा कि अगर फिल्म बनेगी तो तुम ही हीरो रहोगे। हिमालयन रैली पर बेस्ड मूवी में थ्रिल है। शूट में स्टंटमैन की जगह मैंने ही दृश्य किए हैं। कम्प्यूटर ग्राफिक्स के बजाय सब रियल में शूट किया है। फिल्म यूथ को टारगेट पर फोकस करने के लिए इंस्पायर करेगी।
Published on:
15 Aug 2017 04:36 pm
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