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दूरदर्शन अब बिना सेटटॉप बॉक्स के नहीं देख पाएंगे

गरीबों को टीवी देखने से वंचित करने जा रही सरकार, 4 हजार खर्च करने के बाद भी दिखेंगे दूरदर्शन के महज पांच चैनल

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set top box

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संजय जोशी@ इंदौर. दूरदर्शन अब जनता की पहुंच से दूर होने जा रहा है। इंदौर, मुंबई, अहमदाबाद सहित देश के बड़े 16 शहरों के दूरदर्शन केंद्र अब एनालॉग सिस्टम से हटाकर डिजिटल किए जा रहे हैं। 1 दिसंबर से एचडी सेट टॉप बॉक्स के बगैर दूरदर्शन भी नहीं देखा जा सकेगा। बॉक्स लगभग 4 हजार रुपये का है। हालांकि अभी बाजार में ये बॉक्स उपलब्ध भी नहीं है। इसे ऑनलाइन ही खरीद सकेंगे, किस्मत अच्छी रही तो बुकिंग के कुछ महीनों में आपको बॉक्स मिल ही जाएगा।

वर्तमान में इंदौर सहित बड़े शहरों व सुदूर इलाकों में डीटीटी (डिवीजनल टेरेस्ट्रीयल टावर) से दूरदर्शन चैनल का प्रसारण किया जाता है। अब तक ये एनॉलाग सिस्टम पर काम करता है, जिससे करीब 100 किलोमीटर तक मामूली एंटीना या सिर्फ छोटा-सा बिजली का तार लगाकर भी दूरदर्शन के दो चैनल देखे जाते हैं। लेकिन 1 दिसंबर से इन टावरों से डिजिटल प्रसारण शुरू किया जा रहा है, जिसे देखने के लिए डिजिटल सेट टॉप बॉक्स लगाना अनिवार्य है, उसके बिना प्रसारण नहीं देखा जा सकेगा।

शहरी क्षेत्र के साथ सुदूर इलाकों में भी दूरदर्शन फ्री डिश (छतरी) ही सस्ता विकल्प होगा। एक बार करीब १५०० रुपए खर्च कर लगाई जाने वाली फ्री डिश से सिर्फ एक टीवी पर दूरदर्शन के 80 फ्री चैनल नि:शुल्क देखे जा सकते हैं। ये फ्री-डिश 1 दिसम्बर के बाद भी काम करेगी, मगर इस पर डिजिटल क्वालिटी नहीं मिलेगी।

बीपीएल परिवारों पर कुठाराघात
कल से 16 शहरों का डिजिटलाइजेशन किया जा रहा है, जो आने वाले दिनों में देशभर के सभी दूरदर्शन केंद्रों पर किया जाएगा। देश की करीब 70 प्रतिशत आबादी आज भी सिर्फ दूरदर्शन ही देख पाती है। आम गरीब परिवार अव्वल तो सेट टॉप बॉक्स की कीमत नहीं जुटा सकेगा, हिम्मत कर के रुपये ले भी आया तो बॉक्स को ऑनलाइन बुक कर महीनों इन्तजार करना पड़ेगा। क्योंकि अभी दूरदर्शन का विशेष सेट-टॉप बॉक्स बाजार में उपलब्ध नहीं है।