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सिंधिया के करीब मंत्री सिलवाट के चुनाव का पूरा रिकॉर्ड कोर्ट में पेश करने के आदेश

- 2018 के विधानसभा चुनाव में आचार संहिता के उल्लंघन से जुड़े हैं आरोप को लेकर दायर है चुनाव याचिका

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सिंधिया के करीब मंत्री सिलवाट के चुनाव का पूरा रिकॉर्ड कोर्ट में पेश करने के आदेश

सिंधिया के करीब मंत्री सिलवाट के चुनाव का पूरा रिकॉर्ड कोर्ट में पेश करने के आदेश

इंदौर. जल संसाधन मंत्री तुलसी सिलावट के खिलाफ 2018 के विधानसभा चुनाव में आचार संहिता के उल्लंघन को लेकर दायर चुनाव याचिका पर हाई कोर्ट में सुनवाई हुई। जस्टिस शैलेंद्र शुक्ला ने चुनाव आयोग को आदेश दिए हैं कि सिलावट के चुनाव से जुड़ा पूरा रिकॉर्ड पेश किया जाए। आठ अक्टूबर को अगली सुनवाई पहले रिकॉर्ड पेश करना होगा। इससे पहले कोर्ट ने सिलावट की ओर से पेश याचिका खत्म करने से जुड़ा आवेदन 30 जुलाई को खारिज कर दिया था। पूर्व विधायक राजेश सोनकर और राहुल सिलावट ने 2018 के चुनाव के बाद आचार संहिता के उल्लंघन का आरोप लगाते हुए याचिकाएं दायर की थीं, लेकिन सिलावट के पिछले वर्ष कांग्रेस छोड़ भाजपा में जाने के बाद दोनों की ओर से याचिका खत्म करने का आवेदन दिया था। 5 फरवरी 2021 को हाई कोर्ट ने याचिका खत्म करने का नोटिफिकेशन भी जारी किया था, लेकिन दोनों याचिकाएं जारी रखने के लिए सांवेर के मतदाता पवन सिंह और मुकेश चौधरी ने कोर्ट में आवेदन दिया है। उनका तर्क है सिलावट ने आचार संहिता उल्लंघन किया है, इसलिए उनका चुनाव शून्य होना चाहिए। सिलावट के खिलाफ चुनाव में नियमों की अनदेखी के पर्याप्त सबूत हैं। यह है आरोपसिलावट पर आरोप है कि 2018 के चुनाव में उन्होंने नामांकन पत्र के साथ जमा किए जाने वाले शपथ पत्र में अपने सोशल मीडिया अकाउंट की जानकारी नहीं दी थी। क्रिमिनल केस को लेकर अधूरी जानकारी शामिल की गई थी। शैक्षणिक योग्यता को लेकर भी गलत जानकारी दी गई थी, नियमानुसार गलत जानकारी देने पर चुनाव शुन्य किया जा सकता है।