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ये है ‘पेड़ वाले बाबा’, पूरे प्रदेश में है इनके परिवार के चर्चे, जानिए क्या है वजह

जिस तरह राजस्थान में जलपुरुष के नाम से ख्यात हैं राजेंद्र सिंह, वैसे इंदौर में पेड़ बचाने वाले हैं राजेंद्र सिंह।

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इंदौर

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Hussain Ali

Jun 05, 2019

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ये है ‘पेड़ वाले बाबा’, पूरे प्रदेश में है इनके परिवार के चर्चे, जानिए क्या है वजह

इंदौर. जिस तरह राजस्थान में जलपुरुष के नाम से ख्यात हैं राजेंद्र सिंह, वैसे इंदौर में पेड़ बचाने वाले हैं राजेंद्र सिंह। इनका परिवार पेड़ों को नया जीवन देने में लगा है। अब तक वे 10 हजार से अधिक पेड़ों को नवजीवन दे चुके हैं। इनके अभियान के चर्चे पूरे मध्यप्रदेश में हैं।

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बिचौली मर्दाना के पर्यावरण पे्रमी राजेंद्र सिंह, उनकी पत्नी और बेटे ने पेड़ों के आसपास से डामरीकरण, सीमेंटीकरण और पेवर ब्लॉक हटाने की मुहिम छेड़ रखी है। अभियान प्रदेश में फैल चुका है। अन्य राज्यों में भी वे सोशल मीडिया के जरिए जागरूक कर रहे हैं। उनके साथ पत्नी चंचल कौर और बेटा गुरुबख्श सिंह भी अभियान में लगे हैं। तीनों अगर शहर से बाहर कहीं घूमने या समारोह में जाते हैं और वहां भी ऐसे दृश्य दिखते हैं तो उन्हें हटवाने के प्रयास शुरू कर देते हैं।

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एनजीटी के आदेश का हवाला

राजेंद्र सिंह ने बताया कि राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण ने 2013 में निर्देश दिए थे कि कहीं भी निर्माण किए जाएं तो पेड़ो के तने से एक मीटर दूरी रखी जाए। बावजूद इसके अधिकांश जगहों पर पेड़ों के तने से सटाकर पेवर ब्लॉक, सीमेंटीकरण और डामरीकरण किया गया। दो साल पहले इस मुहिम को शुरू किया। जहां भी इस तरह के पेड़ दिखते, उनके फोटो, वीडियो के साथ नगर निगम अधिकारियों को शिकायत करता। वे नहीं सुनते तो मख्यमंत्री को शिकायत करता।

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3000 से अधिक ट्री गार्ड हटाए

सिंह की मुहिम प्रदेशभर में चल रही है। वे जहां भी जाते हैं, ऐसे दृश्य दिखने पर एनजीटी का आदेश और लिखित शिकायत जिम्मेदार विभाग को देते हैं। इसके बाद देखते हैं कि कार्रवाई हो रही है या नहीं। सिंह अब तक 3 हजार से अधिक पेड़ों के ट्री-गार्ड भी हटवा चुके हैं। उनका कहना है कि पेड़ बड़े होने के बाद भी ट्री-गार्ड नहीं हटाते, जिससे पेड़ों को आगे चलकर नुकसान होता है।

....और शहर में यहां है ग्रीन हाउस

इसी प्रकार जौहरी पैलेस में रहने वाले जगदीश बाहेती ने अपने पूरे घर को गार्डन का रूप दे दिया है। उनके घर में टेरेस गार्डन भी है और इसके चलते गर्मियों में भी यह प्राकृतिक रूप से ठंडा रहता है।