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CAIT Report : 60 दिनों में Retail Business को 9 लाख करोड़ रुपए का नुकसान

locationनई दिल्लीPublished: May 25, 2020 10:54:54 am

Submitted by:

Saurabh Sharma

Govt द्वारा ढील के बाद भी 5 फीसदी ही शुरू हो सका है Retail Business
Retail Business में काम करने वाले सिर्फ 8 फीसदी Employees काम पर लौटे

Retail Business

CAIT Report: Retail Business Loses Rs 9 Lakh Crore in 60 Days

नई दिल्ली। कंफेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स ( Confederation of All India Traders ) ने अपनी रिपोर्ट में कहा है पिछले साठ दिनों के कोरोना वायरस लॉकडाउन ( Coronavirus Lockdown ) में भारत के रिटेल कारोबार ( Retail Business ) को करीब नौ लाख करोड़ रुपए का नुकसान हुआ है। आपको बता दें कि देश में अभी कई खुदरा दुकान ( Retail Shops in India ) ऐसी हैं, जिन्हें खोलने की इजाजत नहीं है। वैसे चौथे चरण का लॉकडाउन मई के आखिरी दिन खत्म हो जाएगा। उम्मीद की जा रही है कि एक जून से अधिकतर दुकानें खुल जाएंगी। आइए आपको भी बताते हैं कि कैट ( Cait ) की ओर से किस तरह की रिपोर्ट पेश की गई है।

ढील के बाद भी सिर्फ पांच फीसदी ही कारोबार
कारोबारियों की संस्था ने बयान में यह भी कहा कि पिछले सप्ताह सोमवार को प्रतिबंधों में ढील दिए जाने के बाद से मात्र लगभग पांच फीसदी कारोबार ही शुरू हो सका और आठ फीसदी श्रमशक्ति ही काम पर लौट पाई है। कैट के अनुसार कारोबार में नुकसान के कारण केंद्र और राज्य सरकारों को भी जीएसटी ( GST ) के रूप में लगभग डेढ़ लाख करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है।

बाजार पूरी तरह से वीरान
कैट के अनुसार देशभर के कारोबारी गंभीर वित्तीय संकट ( Financial Crisis ) का सामना कर रहे हैं और सरकार की ओर से किसी नीतिगत समर्थन के बगैर वे अपने कारोबार के भविष्य को लेकर चिंतित हैं। कैट ने कहा है कि लगभग पांच लाख बाहर के कारोबारी दिल्ली के थोक बाजारों में सामान खरीदने आते थे, लेकिन परिवहन का साधन बंद होने के कारण दिल्ली के थोक बाजार वीरान हैं।

सरकार ने दिया है बीस लाख करोड़ रुपए के पैकेज का ऐलान
इसी महीने देश की केंद्र सरकार ने देश में डिमांड बढ़ाने और सप्लाई चेन को दुरुस्त करने के लिए बीस लाख्ख करोड़ रुपए के राहत पैकेज का ऐलान किया है। जिसमें किसानों से लेकर हर तरीके के कारोबारियों तक के लिए काफी कुछ है। उसके बाद रिजर्व बैंक की ओर से रेपो रेट ( Repo Rate ) और रिजर्व रेपो रेट ( Reserve Repo Rate ) में कटौती राहत दी है। इसके अलावा लोन मोराटोरयिम पीरियड ( Loan Moratorium Period ) को बढ़ाकर आम लोगों सहित कारोबारियों को राहत देने की कोशिश की है।

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