लड़कियों की फ्रॉक पहने था मासूम
डायल-100 पर पुलिस को मासूम की सूचना देने वाले छात्र नमन ने बताया कि जब उसकी नजर मासूम पर पड़ी तो वो दो कुत्तों के बीच बैठकर रो रहा था। वो मासूम के पास पहुंचा और कुछ देर तक ये इंतजार करता रहा कि शायद बच्चे को लेने के लिए कोई आएगा। लेकिन काफी देर तक जब कोई मासूम की सुध लेने के लिए नहीं आया तो उसने पुलिस को सूचना दी। मासूम लड़कियों की फ्रॉक पहने हुए था इसलिए पहले सब उसे लड़की समझ रहे थे लेकिन जब मासूम ने शौच की तो पता चला कि वो लड़की नहीं बल्कि लड़का है। मासूम बच्चे के चेहरे पर चोट के निशान हैं जिससे आशंका जताई जा रही है कि उसकी मारपीट भी की गई है। पॉलिटेक्निक कॉलेज के सुरक्षा गार्ड के मुताबिक एक रिक्शे वाला मासूम बच्चे को फुटपाथ पर छोड़कर गया था। इसके आधार पर पुलिस अब इलाके के सीसीटीवी फुटेज के आधार पर रिक्शा चालक की तलाश करने में जुट गई है। नमन चौकसे, अनमोल पटेल, अमर जायसाल और शांतनु चौकसे वो छात्र हैं जिन्होंने मासूम को देखने के बाद पुलिस को सूचना दी थी।
पुलिसकर्मियों और राहगीरों ने दिखाई संवेदना
मासूम को ठंड से ठिठुरता देख एक राहगीर ने तुरंत अपनी कार का सीट कवर निकालकर उसे बिछाया और मासूम को उस पर बैठा दिया। एक अन्य राहगीर तुरंत मासूम के लिए गर्म कपड़े खरीदकर लाया। मौके पर पहुंचे पुलिस आरक्षक वीरेन्द्र सिंह ने खुद अपनी जेब से रुमाल निकालकर मासूम बच्चे की गंदगी को साफ किया और फिर तुरंत उसे लेकर अस्पताल पहुंचे जहां प्राथमिक उपचार के बाद उसे मातृछाया में रखवाया गया है।
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