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विदेश जाने की सोच रहे हैं तो सावधान! लौटकर आए युवाओं ने बताई खौफनाक कहानी

Job Alert : नौकरी का लालच देकर मलेशिया ले जाए गए दो युवकों ने बताई विदेशीचकाचौंध के पीछे की खौफनाक कहानी। भारत और पाकिस्तान के कबूतरबाज एजेंट युवाओं की बेरोजगारी का उठा रहे फायदा। दूसरे देशों में अवैध रूप से भेजने का बड़ा नेटवर्क।

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Job Alert : विदेश में नौकरी के नाम पर युवाओं की ठगी का हैरान कर देने वाला मामला मध्य प्रदेश के जबलपुर से सामने आया है। युवाओं की मजबूरी और बेरोजगारी का फायदा उठा कबूतरबाज युवाओं को झांसा देकर टूरिस्ट वीजा पर मलेशिया समेत दूसरे देश ले जाते हैं, फिर उनसे मुनाफा कमाकर उन्हें भटकने के लिए उन्हीं देशों में छोड़ देते हैं। किसी तरह विदेश से बचकर भारत लौटे दो युवाओं ने विदेशों में नौकरी के नाम पर चल रही ठगी को लेकर चौकाने वाले खुलासे किए हैं। उनहोंने बताया कि उन्हें कंटेनर में छिपाकर मलेशिया भेजा गया। जैसे तैसे वो गिरोह के चंगुल से छूटकर भारत लौटे हैं। वतन लौटने वाले दो युवकों इमरान और सरफराज ने सुनाई हैरान कर देने वाली कहानी।

इमरान और सरफराज के अनुसार, एजेंट दोनों को मलेशिया अच्छी नौकरी का झांसा देकर ले गए और लेकिन उन्होंने वहां उन्हें भटकने को छोड़ दिया। किसी तरह लौटने में कामयाब रहे। शहर के रद्दी चौकी इलाके में रहने वाले इमरान अंसारी तो दो बार इस तरह के गिरोह के चंगुल में फंसकर ठगी का शिकार हो चुके हैं। इमरान के अनुसार, जनवरी 2024 में शाहनवाज नाम का एक शख्स नौकरी का झांसा देकर उन्हें अपने साथ पहले मुंबई ले गया। फिर टूरिस्ट वीजा से उसे फ्लाइट से मलेशिया ले जाया गया। यहां शाहनवाज के पास वीजा था, इसलिए एयरपोर्ट से बाहर निकलने की अनुमति मिल गई, पर इमरान को वहीं से भारत लौटा दिया गया और 48 घंटे में ही उसने जो नौकरी के ख्वाब सजाए थे, वो चकनाचूर हो गए।

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दोबारा बैंकाक के रास्ते मलेशिया पहुंचे

यही नहीं, इस तरह की ठगी के दो महीने बाद ही इमरान अंसारी दूसरे एजेंट के झांसे में आकर मार्च 2024 में चेन्नई और वहां से टूरिस्ट वीजा पर बैंकाक बुलाया। यहां दूसरे एजेंट सलीम ने उसे रहीम से मिलवाया। रहीम ने तीन दिन बाद सड़क मार्ग से जंगल ले गए। यहां से कंटेनर से कुआलालम्पुर पहुंचाया। इसके बाद रहीम गायब भी हो गया। वहां कुछ महीने उसने कंपनी में काम किया, पर तनख्वाह कम दी। भारत लौटने का फैसला किया ही था कि मलेशिया सरकार को जानकारी लगी तो उसने इमरान और उसे जुलाई में भारत डिपोर्ट कर दिया।

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मलेशिया की सड़कों पर भटका

दूसरे युवक सरफराज अहमद की कहानी तो परेशान करने वाली है। वह दोस्त के जरिए एजेंट सलीम के चक्कर में फंस गया। अच्छी नौकरी का झांसा देकर 30 हजार रुपए ट्रांसफर कराए। 20 हजार मलेशिया पहुंचकर देने को कहा। सरफराज ने रुपए उधार लिए और पत्नी के गहने बेचकर मार्च 2024 में मुंबई से फ्लाइट में सवार होकर मलेशिया पहुंच गया। एजेंट होटल में काम दिलाने का झांसा देता रहा। एक माह तक खासा परेशान होने के बाद आखिरकार सरफराज को समझ में आ गया कि वो जालसाजी का शिकार हुआ है। इसके बाद अप्रैल में जैसे तैसे वो भारत लौट आया।

कई युवा फंसे है

इमरान और सरफराज ने बताया कि मलेशिया में भारत के कई युवा फंसे हैं। इनमें खासतौर पर यूपी-बिहार के हैं। निकलने के रास्ते बंद हैं, जिसके चलते वो लोग बदतर जिंदगी जीने को मजबूर हैं। एजेंटों का एक पूरा नेटवर्क है, जिसमें भारत के साथ पाकिस्तान के एजेंट भी शामिल हैं।

मामले की जांच शुरु

थाना प्रभारी प्रतीक्षा मार्को ने बताया कि, काम की बात कहकर एजेंट सलीम और इश्तयाक ने इमरान को मलेशिया भेजा। वो टूरिस्ट वीजा पर गया। वहां काम पसंद नहीं आया। टूरिस्ट वीजा खत्म होने पर मलेशिया सरकार ने पासपोर्ट जब्त कर लिया। इसके बाद जानकारी भारतीय दूतावास को दी गई। यहां से दोनों युवकों की पुष्टि होने के बाद उन्हें भारत भेज दिया गया। इमरान ने दोनों पर नौकरी का झांसा देकर मलेशिया भेजने और 90 हजार रुपए की ठगी का आरोप लगाया है। फिलहाल, मामला दर्ज कर जांच शुरु कर दी गई है।