
Ashok Gehlot Vs Sachn Pilot
राजस्थान का सियासी ड्रामा हर बार नए सवाल छोड़ जाता है, गहलोत और पायलट की राजनितिक खटपट किसी से छिपी नहीं है 25 सिंतबर 2022 को 90 विधायकों की बगावत ने दिल्ली आलाकमान को हिला कर रख दिया। कांग्रेस अध्यक्ष पद की दौड़ में सबसे आगे चल रहे गहलोत कब रेस बाहर हो गए, इसकी भनक तक किसी को नहीं लगी।
एक निजी चैनल को दिए इंटरव्यू में राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने सचिन पायलट को 'गद्दार' तक कह दिया। गहलोत ने राजस्थान में कांग्रेस की सरकार गिराने के राजनीतिक प्रपंच के लिए ने पायलट को जिम्मेदार ठहराया और उन्हें बीजेपी का एजेंट तक बोला। उन्होनें कहा, 2020 में मानेसर में बीजेपी की मिलीभगत से राजस्थान की सरकार गिराने की साजिश में सचिन पायलट और उनके साथी विधायक शामिल थे जिन्हें बीजेपी से 5 से 10 करोड़ रुपए मिले थे।
25 सितंबर 2022 को राजस्थान सरकार में बागी हुए कांग्रेस विधायकों की बात पर सीएम बोले, ये बगावत मेरे खिलाफ नहीं थी। यह सचिन पायलट के खिलाफ थी। पायलट लगातार सरकार को अस्थिर करने की कोशिश कर रहे हैं और साल 2020 में सरकार बचाने वाले 90 विधायक पायलट के इस षडंयत्र के खिलाफ थे।
गहलोत इस बात से ज्यादा आहत नजर आए की साल 2009 में मेरी सिफारिश से केन्द्र में मंत्री बने पायलट उनके खिलाफ साजिश कर रहे है। गहलोत इस वक्त गुजरात चुनाव में व्यस्त है लेकिन आए दिन पायलट कैंप के नेता सरकार के खिलाफ बयानबाजी कर रहे हैं जो किसी भी सरकार और पार्टी की सेहत के लिए ठीक नहीं है।
उधर, सचिन पायलट लगातार राहुल गांधी के साथ भारत जोड़ो में कदमताल कर अपनी तस्वीरें सोशल मीडिया पर शेयर कर रहें है जिससे राजस्थान के बिगड़े सियासी माहौल में ऐसा लग रहा है की पायलट राहुल गांधी के करीब है और गहलोत दूर है।
अशोक गहलोत ने पूरी बातचीत के दौरान इस बात पर ज़ोर दिया कि गांधी परिवार के प्रति उनकी निष्ठा पूरे राजनौतिक करियर में बनी रही है. उन्होंने कहा, मेरे पास जो कुछ भी है, उन्हीं की वजह से है।
Updated on:
24 Nov 2022 05:58 pm
Published on:
24 Nov 2022 05:46 pm
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