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ठगी के कॉल सेंटर: ठग गांव-ढाणियों में मिनी एटीएम लगा निकाल रहे रकम

पुलिस ने डेढ़ लाख सिम ब्लॉक कराए, देश में यह सबसे अधिक, गांवों से 09 एटीएम भी बरामद

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जयपुर,अलवर, भरतपुर. प्रदेश के मेवात क्षेत्र में गांव-गांव में बैठे साइबर ठग देश के कई राज्यों में ठगी कर रहे हैं। तमाम गिरोह झोपडिय़ों और जंगल में बैठकर साइबर फ्रॉड कर रहे हैं। मजे की बात है कि ठगी की रकम निकालने के लिए ठगों ने मिनी एटीएम भी लगा रखे हैं। भरतपुर पुलिस ने ऐसे दस एटीएम बरामद भी किए हैं।
ठगों के खिलाफ भरतपुर रेंज ने ऑपरेशन एंटी वायरस चला रखा है। साइबर ठगों का सबसे बड़ा गढ़ झारखंड का जामताड़ा माना जाता है, लेकिन मेवात क्षेत्र ने जामताड़ा को भी पीछे छोड़ दिया है। पत्रिका ने पड़ताल की तो सामने आया कि यहां सैकड़ों ऐसे गांव-ढाणी हैं, जहां ठगी के कॉल सेंटर चल रहे हैं। देश की सुरक्षा एजेंसियां अब तक मेवात में साइबर ठगों के नेटवर्क को ध्वस्त कर पाने में नाकाम रही है। भरतपुर पुलिस की सख्ती के बाद ठग अब हरियाणा इलाके से गैंग ऑपरेट कर रहे हैं। मेवात में करीब 400-500 ठग ऐसे हैं, जो अभी भी ठगी के इस खेल में सक्रिय हैं। यह पुलिस की गिरफ्त में आते हैं और जमानत पर छूटने के बाद फिर से ठगी शुरू कर देते हैं। वर्ष 2023 से अप्रेल 2024 तक राजस्थान पुलिस ने देशभर में सर्वाधिक सिम व आइएमईआइ नंबर ब्लॉक कराए हैं। अकेले भरतपुर व अलवर पुलिस ने डेढ़ लाख से अधिक मोबाइल सिम और इतने ही मोबाइल आइएमईआइ नंबरों को केंद्र की मदद से ब्लॉक कराया है।

भरतपुर की गैंग सक्रिय, सरगना गिरफ्तार
पुलिस भले ही ठगों के पीछे हो, लेकिन ठग खुद ही पुलिस बन कर ठगी कर रहे हैं। ठगी का यह नया तरीका है, जिसमें डिजिटल अरेस्ट या परिवार के किसी सदस्य को पुलिस हिरासत में बताकर लोगों से मोटी रकम वसूली जा रही है। ठगों ने जामताड़ा में ट्रेनिंग लेकर ऐसा करना शुरू किया है। मेवात के ठग दिल्ली के मुख्यमंत्री अरङ्क्षवद केजरीवाल, सांसद प्रज्ञा ठाकुर, कर्नाटक के डीजीपी, फिल्म स्टार जॉनी लीवर के अलावा केंद्रीय मंत्रियों से ठगी कर चुके हैं।

भरतपुर में ऑपरेशन एंटी वायरस का असर
37 एफआइआर दर्ज
116 आरोपी गिरतार
28.60 लाख नकद पकड़े
252 मोबाइल हैंडसेट व 294 सिम, 134 एटीएम कार्ड व 6 स्वाइप मशीन की जब्त
09 एटीएम
25 वाहन किए जब्त
06 लैपटॉप, एक टेबलेट एवं 6 कप्यूटर और नोट गिनने की मशीन

ऐसे बदला ठगी का ट्रेंड
2012 तक पीतल की ईंट को सोने की बताकर बेचना
2013 के बाद ओएलएक्स पर विज्ञापन देकर वाहन खरीद के नाम पर ठगी
2017 के बाद कार्ड क्लोन कर राशि निकासी
2018 में ठगों ने घरों पर एटीएम मशीन लगाकर राशि निकालना शुरू किया
2019 में सेक्सटॉर्शन के नाम पर ठगी
2022 से अब तक आवाज बदलकर ठगी, रिश्तेदार बनकर ठगी और अब एआइ के माध्यम से आवाज बदलकर ठगी।

कार्रवाई का असर…
ऑपरेशन एंटी वायरस ठगों पर भारी पड़ा है। ज्यादातर ठग अब पुलिस की गिरफ्त में हंै। आगे भी सख्त से सख्त कार्रवाई के लिए प्लान तैयार हैं।
राहुल प्रकाश, आइजी,
भरतपुर रेंज