8 दिसंबर 2025,

सोमवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

क्या ERCP का मटका खाली है? अशोक गहलोत ने पूछा सवाल, डोटासरा बोले- मुख्यमंत्री ने स्वयंभू ‘भागीरथ’ बनकर धोखा दिया

Rajasthan News: ईआरसीपी परियोजना को लेकर लगाई गई एक RTI का सरकार ने जो जवाब दिया उसपर विपक्ष के नेताओं ने सवाल उठाए हैं।

3 min read
Google source verification
Ashok Gehlot, CM Bhajanlal and Govind Singh Dotasara

Rajasthan News: करीब एक माह पहले भजनलाल सरकार की पहली वर्षगांठ पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से जयपुर में ईआरसीपी परियोजना का शिलान्यास किया गया था। अब ये योजना विवादों में आ गई है, क्योंकि इसको लेकर लगाई गई एक RTI का सरकार ने जो जवाब दिया उसपर विपक्ष के नेताओं ने सवाल उठाए हैं। पीसीसी चीफ गोविंद सिंह डोटासरा ने कहा कि ERCP के समझौते का सच बताने में 'राष्ट्रीय सुरक्षा का ख़तरा' एवं 'आर्थिक हितों का जोखिम' कैसे हो सकता है?

वहीं, पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि भाजपा सरकार की ऐसी गतिविधियों से स्पष्ट होता जा रहा है कि PKC-ERCP के समझौते को येन-केन-प्रकरेण छिपाया जा रहा है या इसमें कोई धांधली की जा रही है।

गहलोत ने पूछा- ERCP का मटका खाली है?

राजस्थान के पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने ERCP को लेकर भजनलाल सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि तो क्या खाली ही है ERCP का मटका? यह बेहद आश्चर्यजनक है कि प्रधानमंत्री जी ने मटकों में पानी उड़ेलकर PKC-ERCP योजना का शिलान्यास तक कर दिया परन्तु राजस्थान की भाजपा सरकार ने मध्य प्रदेश सरकार के साथ इस योजना को लेकर ऐसा क्या समझौता किया है जिसे जनता के सामने सार्वजनिक नहीं किया जा रहा है? इस समझौते की जानकारी लेने के लिए लगाई गई RTI को राष्ट्रीय सुरक्षा को खतरा बताकर खारिज कर दिया गया।

अभी तक तो PKC-ERCP के नए समझौते को केवल राजस्थान की जनता के हितों के साथ ही समझौता माना जा रहा था परन्तु अब यह राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए भी खतरा सरकार द्वारा बताया गया है। भाजपा सरकार की ऐसी गतिविधियों से स्पष्ट होता जा रहा है कि PKC-ERCP के समझौते को येन-केन-प्रकरेण छिपाया जा रहा है या इसमें कोई धांधली की जा रही है।

अशोक गहलोत ने कहा कि मेरा अनुमान है कि यह पानी को लेकर पहला ऐसा समझौता होगा जिसकी जानकारी जनता से छिपायी जा रही है। अगर जानकारी छिपानी ही थी तो प्रधानमंत्री जी से शिलान्यास करवाकर भ्रम की स्थिति क्यों पैदा की? ERCP जनता के पैसे से बनने वाला प्रोजेक्ट है और प्रदेश की जनता यह जानने का पूरा अधिकार है कि उनका पैसा कैसे खर्च किया जा रहा है एवं उन्हें अपने हक का पूरा पानी मिल रहा है या नहीं। राजस्थान हो या कोई अन्य राज्य हो, सभी के लिए पानी सबसे महत्वपूर्ण विषय है। भाजपा सरकार को अविलंब PKC-ERCP समझौता सार्वजनिक करना चाहिए।

डोटासरा ने उठाए ये सवाल

वहीं, पीसीसी चीफ गोविंद सिंह डोटासरा ने कहा कि भाजपा सरकार ERCP परियोजना की जानकारी देने एवं समझौते को सार्वजनिक करने से क्यों घबरा रही है? राजस्थान की जनता PKC-ERCP परियोजना की कुल लागत, राज्य की हिस्सेदारी, कार्य की समयसीमा एवं क्रियान्वयन का विवरण जानना चाहती है। लेकिन भाजपा सरकार इसे 'राष्ट्रीय सुरक्षा' से जोड़कर जानकारी देने से बच रही है।

उन्होंने कहा कि ERCP के समझौते का सच बताने में 'राष्ट्रीय सुरक्षा का ख़तरा' एवं 'आर्थिक हितों का जोखिम' कैसे हो सकता है? सच ये है कि प्रदेश की भाजपा सरकार ने PKC-ERCP के समझौते में मध्य प्रदेश के सामने समर्पण करके राजस्थान के हितों के साथ खिलवाड़ किया है। लोकसभा चुनाव में राजस्थान की जनता का वोट हासिल करने के लिए समझौते का स्वांग रचा गया, मुख्यमंत्री जी ने स्वयंभू 'भागीरथ' बनकर आभार सभाएं की और जल संकट ख़त्म करने का झूठ बोलकर जनता को धोखा दिया। सरकार कब तक समझौते की सच्चाई छिपाएगी? राजस्थान को भ्रमित करने वाले स्वयंभू 'भागीरथ' को जनता के सामने जवाब देना पड़ेगा।

क्या है ERCP परियोजना?

गौरतलब है कि पूर्वी राजस्थान में जल संकट को दूर करने के लिए केन्द्र सरकार ने PKC और ERCP परियोजना को एकीकृत कर दिया था। इस दौरान दिल्ली में तत्कालीन जल शक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत, राजस्थान के मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा और मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव की उपस्थिति में एमओयू पर हस्ताक्षर हुए थे। इस परियोजना से राजस्थान के कुल 21 जिलों को पानी की समस्या से राहत मिलेगी। इस परियोजना की अनुमानित लागत 1.20 करोड़ आने की उम्मीद जताई जा रही है।

यह भी पढ़ें : हेडमास्टर और लेडी टीचर ने स्कूल में की थी गंदी हरकत: सरकार ने दोनों को नौकरी से किया बर्खास्त, जांच में हुआ बड़ा खुलासा