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कोर्स अधूरा, परीक्षाएं सिर पर, गेस्ट फैकल्टी मांग रहे कॉलेज…मंजूरी नहीं

राजस्थान यूनिवर्सिटी में दिसंबर में सेमेस्टर परीक्षाएं शुरू होनी हैं। लेकिन छात्रों का कोर्स अधूरा चल रहा है। कारण यूनिवर्सिटी के संघटक कॉलेजों में पढ़ाने के लिए शिक्षकों की कमी है। दरअसल, यूनिवर्सिटी में गेस्ट फैकल्टी के भरोसे ही छात्रों का कोर्स पूरा किया जाता है। यूनिवर्सिटी में 300 से अधिक गेस्ट फैकल्टी लगनी है। […]

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जयपुर

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Amit Pareek

Nov 30, 2024

jaipur

राजस्थान यूनिवर्सिटी में दिसंबर में सेमेस्टर परीक्षाएं शुरू होनी हैं। लेकिन छात्रों का कोर्स अधूरा चल रहा है। कारण यूनिवर्सिटी के संघटक कॉलेजों में पढ़ाने के लिए शिक्षकों की कमी है। दरअसल, यूनिवर्सिटी में गेस्ट फैकल्टी के भरोसे ही छात्रों का कोर्स पूरा किया जाता है। यूनिवर्सिटी में 300 से अधिक गेस्ट फैकल्टी लगनी है। कॉलेजों की ओर से मांग करने के बाद भी यूनिवर्सिटी प्रशासन की ओर से गेस्ट फैकल्टी की स्वीकृति नहीं दी जा रही है। बात महारानी, राजस्थान, महाराजा और कॉमर्स कॉलेज की करें तो यहां छात्रों की संख्या के अनुपात में शिक्षकों की कमी है। गेस्ट फैकल्टी नहीं होने के कारण दो-दो कक्षाओं को एक जगह बैठाकर पढ़ाई करानी पड़ रही है।

जुगाड़ से पढ़ाई कराई शुरू

कुछ संघटक कॉलेजों की ओर से बार-बार राजस्थान यूनिवर्सिटी से गेस्ट फैकल्टी की डिमांड की जा रही है। इतना ही नहीं कुलपति को पत्र भी भेजे जा रहे हैं। संघटक कॉलेजों ने गेस्ट फैकल्टी के नामों की सूची भी यूनिवर्सिटी को भेज दी। इसके बाद भी यूनिवर्सिटी की ओर से गेस्ट फैकल्टी नहीं लगाई जा रही। ऐसे में अब कॉलेजों ने बिना स्वीकृति ही छात्र हितों को देखते हुए गेस्ट फैकल्टी से पढ़ाई कराना शुरू कर दिया है।

::::पांच साल से नहीं हुई भर्ती

राजस्थान यूनिवर्सिटी में शिक्षकों की कमी है। सरकार के स्तर से भी भर्ती प्रक्रिया शुरू नहीं की जा रही है। यूनिवर्सिटी में पिछले पांच साल से शिक्षकों की भर्ती नहीं हुई है। हालात ऐसे हैं कि शिक्षक और विद्यार्थियों का अनुपात बिगड़ गया है। यूनिवर्सिटी में 949 में से 508 पद खाली हैं। यूनिवर्सिटी में 58 प्रोफेसर, 114 एसोसिएट प्रोफेसर और 336 असिस्टेंट प्रोफेसर के पदों पर भर्ती का इंतजार है।