
जयपुर . त्यौहारी सीजन में आप चांदी का वर्क लगी मिठाइयां खरीद रहे हैं तो सावधान हो जाइए। कहीं ये मिठाइयां आपको बीमार न कर दें। क्योंकि इन दिनों त्यौहार की भीड़ के कारण नकली मावे के साथ नकली वर्क की मिठाइयां भी बाजार में खूब बिक रही है। कमाई के लालच में जयपुर व आसपास के ग्रामीण क्षेत्र में मिठाई वाले धड़ल्ले से एल्युमिनियम के वर्क का उपयोग कर रहे हैं। चांदी का वर्क महंगा पडऩे तथा एल्युमिनियम का वर्क काफी सस्ता पडऩे के कारण मिठाइयों पर इसे ही लगाया जा रहा है। यह किडनी और शरीर को काफी नुकसान पहुंचाता है।
देश-विदेश में बिकता है यहां का वर्क
जयपुर के सुभाष चौक थाना क्षेत्र के कई मोहल्लों में वर्क बनाने का काम जोरों पर होता है। यहां बनने वाला वर्क राज्य के साथ-साथ देश-विदेशों में भी बिकता है। चांदी के वर्क के 800 से 1000 रुपए में सिर्फ 160 पीस मिलते हैं। जबकि एल्युमिनियम का वर्क 30 रुपए में 100 पीस मिलता हैं।
ऐसे पहचाने
चांदी का वर्क मुलायम और एकदम चांदी जैसा चमकीला होता है। यह मसलने पर हाथ में ही मिल जाता है। वहीं एल्युमिनियम का वर्क छोटी-छोटी गोलियों का रूप ले लेता है। इसके सफेद रंग में हल्का काला रंग दिखाई देता है।
ये बोले चिकित्सक
नकली वर्क का उपयोग किडनी और शरीर के कई हिस्सों को नुकसान पहुंचाता है। इसलिए असली वर्क को ही काम में लेना चाहिए। यह दिमाग को ठंडा रखता है।
डॉ. सुभाष नेपालिया, पूर्व विभागाध्यक्ष, गेस्टोएन्ट्रोलोजी विभाग, एसएमएस
Published on:
17 Oct 2017 06:34 pm
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