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जयपुर. बढ़ते साइबर अपराध पर लगाम लगाने के लिए और पीड़ित लोगों की तुरंत सुनवाई के लिए अब प्रदेश के सभी थानों में साइबर हेल्प डेस्क बनाई गई है। इसके अलावा पुलिस मुख्यालय (पीएचक्यू) में साइबर अपराध के शिकार पीड़ित लोगों की मदद के लिए गुरुवार को राज्य स्तरीय दो वाट्सएप हेल्पलाइन नंबर 9256001930 व 9257510100 शुरू किए गए हैं। डीजीपी डॉ. रवि प्रकाश मेहरड़ा ने बताया कि पीड़ित लोग हेल्प लाइन नंबर पर डिजिटल अपराध का शिकार होने पर मदद के लिए कॉल या मैसेज भेज सकते हैं। साइबर हेल्प डेस्क पर पीड़ित लोगों को तत्काल सहायता व मार्गदर्शन मिल सकेगा।
पीड़ित वित्तीय धोखाधड़ी का शिकार हुआ है तो हेल्प डेस्क साइबर क्राइम रिपोर्टिंग पोर्टल www.cybercrime.gov.in पर तुरंत शिकायत दर्ज करने में मदद करेगी। साथ ही सुनिश्चित करेंगे कि आपके क्रेडिट/डेबिट कार्ड नंबर, खाता संख्या, लेनदेन आईडी और अन्य सभी महत्वपूर्ण जानकारी सही-सही दर्ज हो, ताकि आपके पैसे वापस आने की संभावना बढ़ सके।
साइबर ठगी में उपयोग होने वाले संदिग्ध मोबाइल नंबर या आइएमइआइ नंबर को साइबर पुलिस पोर्टल www.cyberpolice.nic.in के जरिए ब्लॉक करवाएंगे।
मोबाइल गुम होने पर, हेल्पडेस्क राजस्थान पुलिस की वेबसाइट police.rajasthan.gov.in पर ऑनलाइन या ऑफलाइन रिपोर्ट दर्ज करने और सीईआइआर पोर्टल ceir.gov.in पर डिवाइस को ब्लॉक करवाएंगे।
नेशनल हेल्पलाइन नंबर 1930 के माध्यम से फ्रीज की गई धनराशि को आपके बैंक खाते में वापस दिलाने की प्रक्रिया में साइबर हेल्प डेस्क सहायता करेगी। फेसबुक, इंस्टाग्राम, एक्स जैसे सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर बने फर्जी अकाउंट की रिपोर्ट करने या उन्हें बंद करवाने की कार्रवाई में भी मदद करेगी।
पुलिस मुख्यालय में साइबर क्राइम के एसपी शांतनु कुमार ने बताया कि साइबर हेल्प डेस्क व हेल्प लाइन नंबर पर आमजन वित्तीय धोखाधड़ी, सोशल मीडिया संबंधित अपराध, साइबर अपराध की सभी प्रकार की समस्या पर मदद ले सकते हैं। पुलिस ने वाट्सएप हेल्पलाइन नंबर 9256001930 व 9257510100 जारी किए हैं।
Updated on:
27 Jun 2025 07:45 am
Published on:
27 Jun 2025 06:58 am
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