
जयपुर।
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सचिन पायलट ने भाजपा सरकार पर देश की सुरक्षा के साथ समझौता करने का आरोप लगाते हुए अन्तरराष्ट्रीय सीमा पर जारी की गई खनन स्वीकृति को निरस्त करने की मांग की है। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार बनने के बाद से देश की आंतरिक व बाहृय सुरक्षा के साथ समझौते हुए हैं, जो देश व नागरिकों की सुरक्षा के लिए बड़ी चुनौती है।
उन्होंने कहा कि प्रदेश से सटी पड़ौसी देश की सीमा से मात्र 5 किलोमीटर की दूरी पर जिप्सम खनन् के लिए 209 खनन् के पट्टे जारी किए जा चुके हैं। अत्यधिक संवेदनशील क्षेत्र होने के कारण सुरक्षा एजेंसियों ने भी सरकार से खनन् पर रोक लगाने का आग्रह किया है, जिसे सरकार ने नजरअंदाज कर देश की सुरक्षा के साथ समझौता किया है।
उन्होंने कहा कि एक तरफ तो सरकारी अनदेखी के कारण प्रदेश में बजरी खनन् पर रोक लग चुकी है, जिसके कारण निर्माण कार्य ठप पड़े हैं। वहीं लाखों श्रमिक बेरोजगारी की मार झेल रहे हैं। उन्होंने कहा कि यह इलाका बेहद संवेदनशील है और रक्षा मंत्रालय की स्वीकृति बिना खनन् के लिए अनुमति देना सरकार की मंशा पर सवाल खड़े करता है।
उन्होंने कहा कि गत समय में प्रदेश से सटी अन्तरराष्ट्रीय सीमा से जासूसी व तस्करी बढ़ी है। उन्होंने कहा कि अन्तरराष्ट्रीय सीमा के पास खनन् पट्टों को निरस्त कर देश की सुरक्षा को सुनिश्चित करने में बीएसएफ व सेना के साथ सहयोग करना चाहिए।
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सचिन पायलट ने अंतिम बजट को लेकर राज्य सरकार से जनिहत में उचित फैसले लेने की अपील की है। उन्होंने कहा कि प्रदेश की भाजपा सरकार के गत् चार वर्षों का कार्यकाल स्वयं के हित साधने में बीता है।
उन्होंने कहा कि सरकार ने युवा बेरोजगारों के साथ न सिर्फ वादाखिलाफी की है बल्कि नौकरियों के न्यायालय में लबित होने पर मजबूती से पैरवी नहीं की व उन्हें लटकाए रखा है। ऐसे में 28 से ज्यादा विद्यार्थी मित्रों ने आत्महत्या कर ली। वहीं लगभग 90 किसानों ने अपनी जीवनलीला समाप्त कर ली है। यह सरकार के पास पश्चाताप कर जनता के पक्ष में फैसले लेने का अंतिम अवसर है।
Published on:
11 Feb 2018 05:42 pm
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