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जैसलमेर के रेगिस्तान में जमीन से निकली जलधारा 41 घंटे बाद थमी, लेकिन अब भी इस बात का सता रहा डर

नहरी क्षेत्र की 27 बीडी में चक तीन जोरावाला माइनर के एक खेत में ट्यूबवेल की खुदाई के दौरान निकली जल की धारा का प्रवाह लगभग 41 घंटे बाद जाकर थमा। लगातार दो दिन तक जमीन से पानी निकलता रहा।

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jaisalmer tubewell accident

मोहनगढ़ ( जैसलमेर )। नहरी क्षेत्र की 27 बीडी में चक तीन जोरावाला माइनर के एक खेत में ट्यूबवेल की खुदाई के दौरान निकली जल की धारा का प्रवाह लगभग 41 घंटे बाद जाकर थमा। लगातार दो दिन तक जमीन से पानी निकलता रहा। ट्यूबवेल खुदाई मशीन व ट्रक भूमि में समाए हुए हैं।

रविवार रात्रि दस बजे के करीब पानी जमीन से बाहर निकलना बंद हो गया। इसके बाद प्रशासन व किसानों ने राहत की सांस ली। अंदेशा जताया जा रहा है कि दुबारा रिसाव शुरू हो सकता है, जिसके चलते सावधानी बरतना जरूरी है। उसी जगह से रिसाव वापस शुरू होने से जहरीली गैस आदि का रिसाव हो सकता है। भूमि के धंसने और विस्फोट होने की संभावना भी है।

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उप तहसीलदार एवं कार्यपालक मजिस्ट्रेट मोहनगढ ललित चारण का कहना है कि क्षेत्र में जिला कलेक्टर एवं जिला मजिस्ट्रेट जैसलमेर ने भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता की धारा 163 लगाई गई है, जो अभी प्रभावी रहेगी।

लोगों से अपील की गई है कि ट्यूबवेल मीटर के क्षेत्र में कोई व्यक्ति खुद या मवेशी को प्रवेश न करने दे। खेत के काश्तकार को भी पाबंद किया गया कि जब तक विशेषज्ञों की राय न आए तक तब इस ट्यूबवेल में फंसे हुए उपकरणों को बाहर निकालने की कोशिश न करें।