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सरकार की एडवाइजरी से नाखुश उद्यमी कहा, फैक्ट्रियां बंद, उत्पादन ठप, कहां से देंगे मजदूरों को वेतन

उद्यमियों का कहना है कि पिछले करीब 2 माह से उद्योग बंद है। इस अवधि में उद्योगों के द्वारा लिए गए ऋ ण पर ब्याज चुकाना, विद्युत स्थाई शुल्क का भार सहन करना उद्यमियों के लिए संभव नहीं होगा। लॉकडाउन खुलने के बाद भी उद्योगों को पटरी पर आने में करीब 6 से 8 महीने का समय लगेगा।

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jodhpur industrialists are not happy with government's advisory

सरकार की एडवाइजरी से नाखुश उद्यमी कहा, फैक्ट्रियां बंद, उत्पादन ठप, कहां से देंगे मजदूरों को वेतन

जोधपुर. लॉकडाउन के कारण फैक्ट्रियां बंद, उत्पादन ठप, ऐसे में औद्योगिक इकाइयों में काम करने वाले कर्मचारियों-मजदूरों को अप्रेल माह के वेतन देने के सरकारी फरमान ने उद्यमियों की नींद उड़ा दी है। सरकार ने गत 29 अप्रेल को फैक्ट्रियों में काम कार्यरत कर्मचारियों-मजदूरों को अप्रेल माह का वेतन देने के लिए एडवाइजरी नोट जारी किया है, जिससे उद्यमी नाखुश है।

उद्यमियों का कहना है कि पिछले करीब 2 माह से उद्योग बंद है। इस अवधि में उद्योगों के द्वारा लिए गए ऋ ण पर ब्याज चुकाना, विद्युत स्थाई शुल्क का भार सहन करना उद्यमियों के लिए संभव नहीं होगा। लॉकडाउन खुलने के बाद भी उद्योगों को पटरी पर आने में करीब 6 से 8 महीने का समय लगेगा।

इनका कहना है
सरकार को उद्योगों की वर्तमान स्थिति को समझ कर निर्णय करना चाहिए। उद्यमी अपने साथ काम करने वाले कर्मचारियों के साथ एक पारिवारिक वातावरण में मिल बैठकर उनके खर्चे को तो वहन करने की कोशिश करेगा, लेकिन पूरा भार वहन करने की उद्यमियों की क्षमता नहीं है।
-अशोक बाहेती, अध्यक्ष, जोधपुर इंडस्ट्रीज एसोसिएशन