
जलदाय विभाग...निरीक्षण अभियान की प्रगति से मुख्यालय नाखुश
जलदाय विभाग...निरीक्षण अभियान की प्रगति से मुख्यालय नाखुश
जोधपुर. जलदाय विभाग ने पूरे प्रदेश में मुख्य अभियंता से सहायक अभियंता स्तर के कार्यालयों की स्थिति, अटके कार्य, योजनाओं की प्रगति को सामने लाने और उनको तय समय में पूरा करने के लिए निरीक्षण अभियान चलाया। पिछले साल इसी विभाग में यह अभिनव प्रयोग हुआ। लेकिन निरीक्षण की कमियां दूर करने और अब तक की प्रगति से मुख्यालय खुश नहीं है। ममुख्यालय ने इस बार गबन और ऑडिट की कमियां भी उजागर करने के निर्देश दिए हैं।
निरीक्षण-२०१७ अभियान में सामने आई कमियों पर एक रिपोर्ट तैयार कर राज्य सरकार को भेजी गई थी। प्रमुख शासन सचिव ने इन कमियों को दूर करने के लिए इस साल पुन: निरीक्षण अभियान शुरू किया। लेकिन हालत यह है कि कहीं भी न तो पुरानी कमियों को दूर किया गया और न नए अभियान में सख्ती दिखाई गई। इस पर मुख्यालय ने सख्ती दिखाते हुए अभियान की स्थिति को ‘खराब’ बताते हुए अभियान की अवधि दिसम्बर २०१८ तक बढ़ा दी है।
अभियान को प्रभावी बनाने के लिए मुख्यालय ने सभी कार्यालयों को गबन, चोरी या नुकसान की जानकारी देने के भी निर्देश दिए हैं। यदि हुआ तो यह बताना होगा कि उसकी भरपाई कैसे होगी। यह भी बताना होगा कि कितने स्वीकृत और कार्यशील ठेकेदार हैं और कितनों के विरुद्ध कार्रवाई हो चुकी है। ऑडिट आक्षेप भी बताने होंगे। कार्यालय में पड़े अवांछित सामान की भी जानकारी देनी होगी।
ऐसे होगा निरीक्षण
मुख्य अभियंता अपने अधीन अतिरिक्त मुख्य अभियंता अधीक्षण अभियंता, अधिशासी अभियंता और सहायक अभियंता स्तर के कार्यालय का निरीक्षण करेंगे। संबंधित अभियंता अपने अधीन कार्यालय का निरीक्षण करेंगे।
यह काम पहले देखे गए
- कार्यालय की भौतिक स्थिति
- क्षेत्र में योजनाओं की प्रगति
- पेयजल आपूर्ति की स्थिति
इनका कहना है
‘निरीक्षण अभियान का यह दूसरा साल है। नए शेडयूल के हिसाब से दिसम्बर तक यह अभियान चलेेगा। इसके लिए जल्द ही शुरू किया जाएगा।
- जयसिंह चौधरी, अतिरिक्त मुख्य अभियंता, जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग, जोन जोधपुर।
Published on:
09 Aug 2018 08:18 pm
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