
Doctor issued arbitrary medical certificate
कटनी. पूर्व में कटनी स्वास्थ्य विभाग में पदस्थ रहे मुख्य कार्यपालन अधिकारी (सीएमएचओ) डॉ. आरके अठया की अजब-गजब मनमानी सामने आई है। साबह का 7 जून को विभाग द्वारा बतौर सीएमएचओ दमोह के लिए तबादला कर दिया गया है और वे कुछ दिन बाद ही चले गए हैं, बावजूद इसके कटनी जिला अस्पताल की ओपीडी पर्ची व दस्तावेजों में कटनी जिले का रेडियोलॉजिस्ट बताकर मेडिकल सर्किटफिकेट जारी कर रहे हैं। हाल ही में मामला रेलवे के फूड सेंटरों में काम करने वाले वेंडरों को जारी करने का मामला सामने आया है।
बकायदा ‘डॉ. आरके अठया बी एससी, एमबीबीएस, एम, रेडियोलॉजिस्ट जिला चिकित्सालय कटनी’ की सील लगाकर हस्ताक्षर किए गए हैं। ओपीडी पर्ची, जांच रिपोर्ट, एक्सरे, मेडिकल सर्टिफिकेट आदि में सील-साइन किए गए हैं, जबकि यह नियम विरुद्ध है। जब चिकित्सक जिला व जिला अस्पताल में पदस्थ नहीं तो ऐसा कृत्य किया जाना नियमों के विपरीत है। स्थानांतरण के बाद भी इस तरह की चल रही मनमानी का मुद्दा इंद्रा मिश्रा ने उठाया है। उन्होंने इस मामले की जांच कराते हुए कार्रवाई किए जाने मांग की है।
सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार डॉ. आरके अठया द्वारा रेलवे स्टेशन में फूड के फूड सेंटरों में काम करने वाले वेंडरों को रेलवे में मेडिकल सर्टिफिकेट जमा करना होता है, उन्हीं के लिए ये सर्टिफिकेट जारी किए गए हैं। यह संख्या सिर्फ एक या दो में नहीं है बल्कि दर्जनों में बताई जा रही है। मनमानी का यह खेल सिस्टम पर सवाल खड़े कर रहा है।
केस-01
अंकित पटेल पिता संजय (25) निवासी कटनी के नाम से मेडिकल सर्किफिकेट जारी किया गया है, जिसकी जिला अस्पताल की ओपीडी पर्ची क्रमांक 20250147667 है। यह पर्ची 30 अगस्त को जारी की गई है।
केस 02
रिंकू बर्मन पिता भूरेलाल (32) निवासी कटनी के नाम से मेडिकल सर्किफिकेट जारी किया गया है, जिसकी जिला अस्पताल की ओपीडी पर्ची क्रमांक 20250147666 है। यह पर्ची भी 30 अगस्त को जारी की गई है।
जानकारी के अनुसार कटनी मुख्य चिकित्सा स्वास्थ्य अधिकारी के पद पर पदस्थ रहे डॉ. आरके अठया का स्थानांतरण 7 जून को दमोह जिला के लिए बतौर सीएमएचओ गया है। यह स्थानांतरण आदेश संचनालय लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग द्वारा जारी किया गया था। कुछ दिन बाद भी यहां से रिलीव हो गए थे और वर्तमान सीएमएचओ डॉ. राज सिंह ठाकुर हैं। स्थानांतरण के बाद भी डॉ. अठया द्वारा मनमानी की जा रही है।
इस पूरे मामले में जिला अस्पताल में ओपीडी पर्ची काटने वाली एजेंसियों के कर्मचारियों की भी मिलीभगत बताई जा रही है। पंजीयन पर्ची तो किसी भी व्यक्ति के लिए निकाली जा सकती है, लेकिन मेडिकल सर्टिफिकेट के लिए लगने वाली दूसरी पर्ची कर्मचारी के आइडी-पासवर्ड के आधार पर ही निकलना बताई जा रही है।
इस पूरे मामले में सिविल सर्जन डॉ. यशवंत वर्मा ने कहा कि जिला अस्पताल में कोई भी रेडियोलॉजिस्ट पदस्थ नहीं हैं। मेडिकल सर्टिफिकेट व ओपीडी पर्चियों में जो डॉ. आरके अठया के सील-साइन हैं वे वर्तमान में जिला अस्पताल में पदस्थ नहीं हैं। उनका कहना है कि इस संबंध में उन्हें कोई शिकायत प्राप्त नहीं हुई है।
वर्जन
मेरा स्थानांतरण दमोह भले हो गया है लेकिन मैं एक चिकित्सक हंंू और जांच के लिए लिख सकता हूं। मेरा पहला दायित्व लोगों का इलाज करना व परामर्श देना है। यह बात अलग है कि ओपीडी पर्ची जिला अस्पताल की थी। शायद मेडिकल सर्टिफिकेट जारी नहीं किया। लोग बेवजह शिकायत कर रहे हैं।
डॉ. आरके अठया, पूर्व सीएमएओ।
वर्जन
जिला अस्पताल कटनी में जब डॉ. आरके अठया पदस्थ नहीं हैं उनका स्थानांतरण भी दूसरे जिले के लिए हो गया है तो इस तरह से सर्टिफिकेट जारी करना नियम विरुद्ध है। इस मामले की जांच कराई जाएगी। जांच में जो तथ्य सामने आएंगे, उसके अनुसार आगे की कार्रवाई की जाएगी।
डा. राज सिंह ठाकुर, सीएमएचओ।
Published on:
07 Sept 2025 07:20 am
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