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आधी रात यहां सजती थी देह व्यापार की मंडी, कस्टमर की डिमांड पर बुलाते थे लड़कियां

छत्तीसगढ़ के कोरबा जिले में पुलिस ने देह व्यापार का पर्दाफाश किया है। पुलिस ने मौके से दो ग्राहक और चार महिला को गिरफ्तार किया है।

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कोरबा

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Ashish Gupta

Jun 29, 2018

jism faroshi

आधी रात यहां सजती थी देह व्यापार की मंडी, कस्टमर की डिमांड पर बुलाते थे लड़कियां

कोरबा. छत्तीसगढ़ के कोरबा जिले में पुलिस ने देह व्यापार का पर्दाफाश किया है। पुलिस ने बताया कि जेल के पीछे स्थित हाउसिंग बोर्ड कॉलोनी के एक मकान में छापा मारकर देह व्यापार का खुलासा किया है। पुलिस ने मौके से दो ग्राहक और चार महिला को गिरफ्तार किया है।

पुलिस ने बताया कि जिला जेल के पीछे स्थित हाउसिंग बोर्ड कॉलोनी के मकान सी 12 में देह व्यापार की सूचना मिली थी। पुलिस ने घेराबंदी करके मकान पर छापा मारा। तलाशी के दौरान दो अविवाहित लड़कियां और दो महिलाएं मिली। पुलिस ने घर से दो पुरुष को भी पकड़ा। बालकोनगर थाने में पूछताछ की गई। इसमें देह व्यापार का खुलासा हुआ।

पुलिस ने छह लोगों के खिलाफ पीटा एक्ट के तहत केस दर्ज किया है। इसमें मुड़ापार निवासी जीवनलाल सिंधी (60) और सुशील श्रीवास्तव (30) साल शामिल है। जीवनलाल ग्राहक बनकर पहुंचा था। जबकि सुशील ने किराए पर मकान लिया था। पुलिस ने गिरोह से 10 हजार रुपए और छह मोबाइल हैंडसेट भी जब्त किया है। घर से आपत्तिजनक सामान भी पुलिस को मिले हैं। कार्रवाई के दौरान बालकोनगर थाना, क्राइम ब्रांच पुलिस और महिला सेल के कर्मचारी भी उपस्थित थे।

किराए का मकान
देह व्यापार के लिए सुशील ने जिला जेल के पीछे स्थित हाउसिंग बोर्ड कॉलोनी में एक मकान किराए पर लिया है। इसमें सुशील अपनी पत्नी के साथ रहता था। सुशील रोजी मजदूरी की आड़ में सेक्स रैकेट चला रहा था।

बाहर से बुलाई जाती थी लड़कियां
सुशील के पास पुलिस ने एक मोबाइल फोन बरामद किया है। इसमें देह व्यापार से जुड़ी कई लड़कियों के सम्पर्क नंबर हैं। पुलिस को पूछताछ में देह व्यापार के लिए कोरबा के अलावा पड़ोसी जिलों से भी लड़कियां बुलाने की जानकारी दी है। गिरोह का सरगना सुशील है। ग्राहकों की डिमांड पर लड़कियों को बाहर से बुलाता था। उनके कोरबा पहुंचाने पर खुद घर लेकर जाता था। ग्राहक को कॉल करके घर में बुलाता था।

लेते से एक से दो हजार रुपए
ग्राहक से सुशील एक से दो हजार रुपए लेता था। लेकिन लड़कियों को लगभग 500 रुपए देता था। गोरख धंधा को पुलिस और आसपास के लोगों की नजर से बचाने के लिए भी सुशील ने पूरी कोशिश की थी। देर रात या तेज धूप में जब सन्नाटा पसरा होता था, तब ग्राहक को घर बुलाता था।