
बेटी की मजबूत गवाही
कोरबा. बेटी की मजबूत गवाही से उसकी मां को जिंदा जलाने वाले दोषी को कोर्ट ने उम्रकैद की सजा दी है। घटना पाली थाना क्षेत्र के गांव साजाबहरी की है। 21 अप्रैल, 2013 की शाम छह से सात बजे के बीच गांव में रहने वाली सावित्री बाई आग से झुलस गई थी। उसे गंभीर हालत में सिम्स बिलासपुर रेफर किया गया था।
इलाज के दौरान महिला की 25 अप्रैल, 2013 को बिलासपुर में मौत हो गई थी। पुलिस मर्ग कायम कर जांच कर रही थी। सावित्री की मौत को आत्मदाह बताया था। इसके लिए बाबूलाल सिंह को दोषी माना था। उसके खिलाफ पाली थाना में आईपीसी की धारा 306 (खुदकुशी के लिए उकसाने) का केस दर्ज किया था।
मामले की सुनवाई कटघोरा के अपर जिला एवं सत्र न्यायालय में चल रही थी। गवाही के दौरान सावित्री की पुत्री राजकुमारी ने कोर्ट को बताया कि उसकी मां को बाबूलाल ने मिट्टी तेल डालकर जला दिया था। इसके बाद घर से बाइक में फरार हो गया था। घटना का कारण मोबाइल का झगड़ा बताया गया। राजकुमारी घटना की प्रत्यक्षदर्शी गवाह थी। इस बयान के आधार पर कोर्ट ने बाबूलाल को आईपीसी की धारा 302 (हत्या) का आरोपी बनाया।
अन्य गवाहों के बयान और सबूत के आधार पर हत्या का दोषी माना। उसे उम्रकैद की कठोर सजा दी है। सावित्री का पति हत्या के आरोप में बिलासपुर जेल में बंद था। इस दौरान बाबूलाल से महिला के अवैध संबंध थे। बाबूलाल महिला के घर में रूकता था।
Published on:
27 Oct 2018 10:06 pm
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