कोटा. चम्बल गार्डन तथा ट्रैफिक गार्डन का जिम्मा अब नगर निगम ही संभालेगा। क्योंकि नए टेण्डर नहीं हो पाए हैं। चम्बल गार्डन के प्रवेश शुल्क के लिए टेण्डर मांगे गए थे, लेकिन दरें अधिक होने के कारण ठेकेदारों ने रूचि नहीं दिखाई है।
पिछले साल के मुकाबले दस प्रतिशत दरें बढ़ाकर टेण्डर मांगे गए थे। इसमें एक भी फर्म ने आवेदन नहीं किया। भीतरिया कुण्ड और नयापुरा बस स्टैण्ड पर वाहन स्टैण्ड के टेण्डर भी नहीं हो पाए हैं। निगम अपने स्तर पर संचालित करेगा।
राजस्व समिति के अध्यक्ष महेश गौतम लल्ली ने बताया कि राजस्व समिति की बैठक में मौजूदा टेण्डर को ही दस प्रतिशत राशि बढ़ाकर रिवाइज करने का प्रस्ताव लिया था, लेकिन अधिकारियों ने प्रस्ताव को नहीं माना और टेण्डर मांगे गए थे।
चंबल गार्डन चंबल नदी के किनारे पर स्थित है। सुरम्य वातावरण के बीच में स्थित यह सुंदर और बड़ा पार्क यहां के लोगों के बीच पिकनिक स्पॉट के रूप में प्रसिद्ध है। गार्डन के बीचोंबीच में एक तालाब भी बना है जिसमें कुछ मगममच्छ भी हैं। तालाब के ऊपर एक झूला पुल भी बना हुआ है। कहा जाता है कि एक समय था जब यहां नदी में काफी मगरमच्छ थे, पूरी नदी में घडि़यालों की भारी संख्या का बसेरा था लेकिन 20 वीं सदी के मध्य के दौरान इनका शिकार तेजी से किया जाने लगा और इनकी संख्या में काफी कमी आ गई। वर्तमान में थोड़े से मगरमच्छ ही बचे हैं जो इस तालाब में रहते हैं।