
कोटा .
बूंदी के केशोरायपाटन में जिस जानलेवा जापानी इनसेफेलाइटिस वायरस (मस्तिष्क ज्वर) की दस्तक मिलने से चिकित्सा महकमे की नींद उड़ी हुई है, दो बार जयपुर से टीम आकर सैंपल ले गई, उसी टीम के निर्देश पर मंगलवार को कोटा रैफर होकर आए एक बुजुर्ग पॉजिटिव रोगी 24 घंटे तक न्यू मेडिकल कॉलेज अस्पताल में अपना पर्चा लिए भटकते रहे, उन्हें भर्ती नहीं किया गया। जबकि, उनके पर्चे पर साफ लिखा था कि 'रोगी जापानी इनसेफेलाइटिस से पीडि़त है।
बूंदी डिप्टी सीएमएचओ के दखल के बाद बुधवार दोपहर 3.30 बजे उन्हें भर्ती किया गया। अस्पताल के जवाबदेह अधिकारी अब कह रहे हैं कि रेजीडेंट रोगी का केस समझ नहीं पाए, इसलिए भर्ती नहीं किया गया।
इनसेफेलाइटिस पॉजिटिव रोगी के.पाटन निवासी 80 वर्षीय घनश्याम ने बताया कि उन्हें मंगलवार सुबह जयपुर से आई टीम के निर्देश पर डिप्टी सीएमएचओ बूंदी अविनाश शर्मा के मार्फत कोटा अस्पताल में भर्ती के लिए एंबुलेंस से भेजा गया था। वे अपने बेटे सुरेश के साथ दोपहर को कोटा मेडिकल कॉलेज अस्पताल पहुंच गए। यहां रक्त, ईसीजी और एक्स-रे जांच भी हुई लेकिन भर्ती के लिए शाम तक वे यहां भटकते रहे, किसी ने नहीं सुनी। उन्हें सामान्य ही बताया जा रहा था। उन्होंने पर्चा भी दिखाया लेकिन डॉक्टर नहीं माने।
शाम को वे दादाबाड़ी में अपने किसी परिचित के यहां रात रुके। इसके बाद बुधवार सुबह पुन: अस्पताल गए। उधर, बूंदी डिप्टी सीएमएचओ ने भी उनसे संपर्क किया तो उन्होंने भर्ती न होने की जानकारी दी। उन्होंने ड्यूटी डॉक्टर से बात की तब जाकर बुधवार दोपहर 3.30 बजे जाकर उन्हें भर्ती किया गया।
नवम्बर में किया था सर्वे
31 अक्टूबर को बूंदी जिले के केशवरायपाटन निवासी मंजू (30) पत्नी बृजेश पांचाल की इस वायरस के कारण मौत हो हुई थी। चिकित्सा विभाग ने महिला के सिरम (रक्त का नमूना) को जांच के लिए नेशनल इंस्टीट्यूट पुणे भेजा था, जिसमें जांच में जापानी इनसेफेलाइटिस वायरस व एलाइजा पॉजीटिव आया था। उसके बाद 13 नवम्बर को जयुपर से आई टीम ने कस्बे में सर्वे कर कुछ रोगियों के सैंपल लिए थे। इन्हीं सैम्पल की पुणे इंस्टीट्यूट से हाल ही आई रिपोर्ट में केशवरायपाटन निवासी घनश्याम व अनरेठा निवासी बालचंद (35) जापानी इनसेफेलाइटिस पॉजीटिव आया है।
छह और के लिए सैंपल
नवम्बर के सर्वे सैंपल में दो और लोगों के पॉजिटिव आने पर चिकित्सा विभाग में हड़कप मच गया है। जयपुर से मंगलवार को फिर चिकित्सा टीम आई और बुखार व अन्य लक्षणों के आधार पर केशवरायपाटन व अरनेठा में 6 लोगों के सेंपल लिए हैं।
अतिरिक्त निदेशक ग्रामीण स्वास्थ्य डॉ. रवि माथुर का कहना है कि जयपुर से एक टीम को इस मामले में भेजा था जिसने सेंपल लिए हैं। वहीं मरीज को भर्ती कराए जाने के लिए बूंदी से एम्बुलेंस में भेजा था, भर्ती क्यों नहीं किया इस सम्बंध में प्राचार्य से रिपोर्ट मांगेंगे। लिए गए सभी नए सेंपल नेशनल इंस्टीट्यूट पुणे भेजे हैं, रिपोर्ट करीब 20 दिन बाद आएगी।
अधीक्षक न्यू मेडिकल कॉलेज अस्पताल डॉ. देवेन्द्र विजयवर्गीय का कहना है कि मेरे पास रोगी नहीं आया और रेजीडेंट समझ नहीं पाए कि रोगी किस बीमारी का है। वह सामान्य है इसलिए भर्ती नहीं किया गया, बुधवार को कर लिया गया।
Published on:
06 Dec 2017 10:09 pm
बड़ी खबरें
View Allकोटा
राजस्थान न्यूज़
ट्रेंडिंग
