
एनआईटी, ट्रिपलआईटी, जीएफ टीआई की पात्रता में रियायत
कोटा. देश की सबसे बड़ी इंजीनियरिंग प्रवेश परीक्षा जेईई मेन जनवरी में सम्पन्न हो चुकी है और अब 1 से 6 सितम्बर के मध्य प्रस्तावित है। इसमें 9 लाख से ज्यादा विद्यार्थियों के बैठने की संभावना है। वर्ष 2017 से एनआईटी, ट्रिपलआईटी, जीएफ टीआई की पात्रता योग्यता 12वीं में सामान्य, ओबीसी श्रेणी के लिए 75 प्रतिशत, एससी एसटी, शारीरिक विकलांग के लिए 65 प्रतिशत अथवा श्रेणी अनुसार टॉप 20 परसेंटाइल क्वालिफ ाई करना अनिवार्य था। इस वर्ष कोरोना संक्रमण के चलते बहुत से बोर्ड की परीक्षाएं स्थगित एवं रद्द होने की वजह से विद्यार्थियों को इस बोर्ड पात्रता से रियायत दे दी गई है।
एचआरडी मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक ने ट्वीट के माध्यम से इस संबंध में जानकारी देते हुए बताया कि 12वीं पास विद्यार्थियों को वर्ष 2020 में एनआईटी, ट्रिपलआईटी, जीएफ टीआई में प्रवेश के लिए पात्र घोषित किया है।
कॅरियर काउंसलिंग एक्सपर्ट अमित आहूजा ने बताया कि 31 एनआईटी, 25 ट्रिपलआईटी, 28 जीएफ टीआई की कुल 30 हजार 804 सीटों के लिए बोर्ड पात्रता हटाने से उन विद्यार्थियों को बड़ी राहत मिलेगी, जो जेईई मेन में रैंक आने के बावजूद बोर्ड पात्रता के कारण इन कॉलेजों में प्रवेश लेने से वंचित रह जाते थे। विशेषकर एससी-एसटी श्रेणी के वे विद्यार्थी, जिनकी रैंक लाखों में होने के कारण काउंसलिंग के कारण कॉलेज आवंटन होने के बाद बोर्ड पात्रता पूरी नहीं होने के कारण प्रवेश नहीं ले पाते थे।
ऐसे में इस वर्ष कैटेगिरी वाले विद्यार्थियों की बहुत पीछे की रैंक आने पर भी आईआईटी, एनआईटी में प्रवेश प्राप्त कर सकेंगे। इसके अलावा जेईई मेन की रैंक एवं स्कोर के आधार पर ऐसे कॉलेज जिनमें प्रवेश पात्रता बोर्ड में 75 प्रतिशत एवं टॉप 20 परसेंटाइल नहीं है, उनके प्रवेशों पर भी इसका असर होगा। अब इन कॉलेजों में प्रवेश के लिए जेईई मेन कटऑफ कम जा सकती है, क्योंकि पूर्व में विद्यार्थी जेईई मेन में बोर्ड पात्रता पूरी नहीं होने के कारण इन कॉलेजों को अपनी प्राथमिकता में रखते थे। इन कॉलेजों में थापर, निरमा, जेपी नोएडा, धीरुभाई अंबानी, ट्रिपलआईटी बेंगलूरु, पीडीपीयू, डीटीयू, एमएसआईटी, ट्रिपलआईटी दिल्ली जैसे संस्थान शामिल हैं।
Published on:
23 Jul 2020 06:26 pm
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