
रेलवे के पास स्टाफ की कमी
कोटा . कोटा मंडल में सुरक्षा के साथ यात्रियों की संरक्षा भी दांव पर है, वह इसलिए कि मंडल में सेफ्टी श्रेणी के पद बड़ी संख्या में रिक्त चल रहे हैं। इससे कर्मचारियों को तनाव और काम के बोझ के साथ ड्यूटी करनी पड़ रही है। कई विभागों में कर्मचारियों समय विश्राम और छुट्टियां भी नहीं मिल पाती। इस कारण संरक्षा खतरा बना हुआ है। रेलवे सूत्रों के अनुसार स्टेशन मास्टर, ट्रेन चालक, गार्ड, पेट्रोलिंग करने वाले कार्मिक और ट्रैक मेंटेनर के पद रिक्त हैं। ट्रेड यूनियनों की ओर से लम्बे समय से इन रिक्त पदों को भरने की मांग की जा रही है, लेकिन रेल मंत्रालय इस पर ध्यान नहीं दे रहा। कोटा मंडल में करीब 16 हजार 78 पद स्वीकृत हैं, इनमें से 13 हजार 249 पद भरे हुए हैं। 2829 पद रिक्त हैं। इनमें से संरक्षा के श्रेणी के पद करीब ढाई हजार पद हैं। परिचालन, इंजीनियरिंग, सिग्नल एंड टेलीकॉम, यांत्रिक और इलेक्ट्रिक विभाग से जुड़े सभी पदों का सीधा सेफ्टी से संबंध है। इसके बावजूद भी इन श्रेणियों के पद ज्यादा रिक्त हैं।
उठाया मसला
रेलवे मजूदर संघ के जोनल संयुक्त महामंत्री अब्दुल खालिक ने कहा कि संरक्षा श्रेणी से जुड़े रिक्त पदों को भरने के लिए पिछले दिनों महाप्रबंधक के साथ हुई स्थाई वार्ता तंत्र की बैठक में मसला उठाया था। आगामी बैठक में भी इस पर चर्चा होगी। रेलवे बोर्ड तक पुन: इस मुद्दों को पहुंचाया जाएगा और पदों को भरने की मांग जारी रहेगी।
पदों की स्थिति...
55 लाख औसत कोटा मंडल में हर रोज यात्री आए। 18.50 लाख औसत हर रोज कोटा जंक्शन पर यात्री आए। 12 लाख औसत हर रोज कोटा जंक्शन पर अनारक्षित यात्रियों से आए। यहां 16078 पर स्वीकृत, 13249 पद भरे हुए, इनमें से 2829 पद रिक्त हैं साथ ही 2745 पद सेफ्टी से जुड़े, 974 पद इंजीनियरिंग विभाग में डी श्रेणी के, 376 पद परिचालन विभाग में सी श्रेणी के, 39 पद परिचालन विभाग में डी श्रेणी के, 92 पद रंनिंगकर्मियों के, 65 पद सी श्रेणी के कैरिज एंड वैगन सेक्शन, 50 पद डी श्रेणी के कैरिज एंड वैगन सेक्शन में, 10 और 42 लोको विभाग में सी एवं डी श्रेणी, 79 सिग्नल विभाग में, 84 टेलीकॉम विभाग में और 246 पद इलेक्ट्रीकल विभाग में रिक्त हैं।
Published on:
01 Dec 2017 04:46 pm
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