Skillup Program: कोटा. बोट कम्पनी के को-फाउण्डर अमन गुप्ता ने गुरुवार को भावी इंजीनियर्स, डाक्टर्स व विभिन्न क्षेत्रों में ऊंचाई छूने के ख्वाब देख रहे युवाओं को सफलता के गुर सिखाकर उत्साह व ऊर्जा से भर दिया। कोचिंग छात्र व अन्य लोग को अमन को ध्यान से सुनते रहे। अमन ने एजुकेशन हब कोटा की तारीफ के साथ अपना उद्बोधन शुरू किया। फिर बच्चों को मोटिवेट करते हुए सक्सेस के टिप्स दिए। अवसर था, आन्या फाउंडेशन की पहल पर आयोजित स्किलअप कोटा कायक्रम का।
रोड नंबर एक स्थित सीपी ऑडिटोरियम में आन्या फाउण्डेशन संयोजक व वरिष्ठ सिविल सेवक अंजलि बिरला की पहल पर आयोजित स्किलअप कोटा कार्यक्रम आयोजित किया गया। सरकारी सहायता के बिना अब तक के सबसे बड़े कौशल विकास कार्यक्रम स्किलअप कोटा का आगाज हुआ। बोट कम्पनी के को-फाउंडर व शार्क टैंक इंडिया फेम अमन गुप्ता ने अपनी कहानी से प्रतिभागियों और युवाओं को जिन्दगी का फलसफा समझाया। उन्होंने कहा कि जीवन में असफलताएं मिलती हंै, लेकिन उनसे हारना नहीं चाहिए।
उन्होंने अपने जीवन में असफलता से सफलता की कहानी को भी बच्चों के साथ शेयर किया। हार के बाद एक जीत भी इंसान को बुलंदी की ओर ले जाती है। सीधे ही सफलता इतना आनंद नहीं देती, हार के बाद मिली जीत खुशी देती है। यह जरूरी नहीं कि हर कोई डॉक्टर-इंजीनियर ही बने, हम अपनी हॉबी को पहचानें और मेहनत करते हुए आगे बढ़ें। एक रास्ता बंद होता है तो दूसरा रास्ता खुल जाता है।
अपने जीवन की कहानी से किया मोटिवेट
अमन ने खुद के जीवन की कहानी सुनाई। कहा कि उन्होंने विभिन्न कम्पनियों में कार्य किया, लेकिन असफलताएं मिलती गई। पांच बार असफल होने के बाद ये मुकाम हासिल हुआ। अमन ने स्टोरी पर आधारित शॉर्ट वीडियो दिखाते हुए बताया कि उनसे कभी किसी ने यह नहीं पूछा कि वे क्या बनना चाहते हैं, दादाजी सीए थे तो पापा ने कहा कि मेरा बेटा भी सीए बनेगा। पहले तो माता-पिता तय करते थे, आजकल तो आप खुद डिसाइड कर सकते हैं। अमन ने कहा कि हर किसी में कोई न कोई योग्यता होती है। उसके अनुरूप क्षेत्र का चयन करें। आपके पास कोई डिग्री हो तो अच्छी बात है, लेकिन स्किल महत्वपूर्ण होती है। आपको जो अच्छा लगता है, वो करोगे तो सक्सेस मिलेगी।
25 मिनट में सफलता के ये मूल मंत्र दिए
– जिन्दगी में कुछ बड़ा करना चाहते हो तो ईगो छोड़ो।
– रिस्क लेने से मत घबराओ, मन का डर हमें नकारात्मकता की ओर ले जाता है। आगे बढऩा है तो इस बाधा को तोडऩा पड़ेगा।
– टेंशन क्यों लेते हो, दुनिया में शायद ही कोई ऐसा व्यक्ति हो जो असफलता देखे बिना सफल हुआ हो। मेरी भी चार कम्पनियां डूबीं, सारा पैसा खत्म हो गया, लेकिन एक सफलता ने इस ऊंचाई पर पहुंचा दिया।
– जिन्दगी सबको मौका देती है। जब भी अवसर सामने दिखे, उसे पकड़ लो।
– जिन्दगी में अपना पैशन जरूरी है। विनम्र और मितव्ययी रहते हुए हमें बेसिक्स पर डटे रहते हुए आगे बढऩा चाहिए
शिक्षा के साथ स्किल डवलपमेंट का भी केंद्र बने कोटा
स्किलअप कोटा कार्यक्रम की सराहना करते हुए उन्होंने कहा कि कोटा शिक्षा नगरी है, लेकिन इस तरह की शुरुआत इस शहर को स्किल डवलपमेंट का भी केंद्र बना सकती है। आने वाला समय भारत का है। ऐसे में हमें अधिक से अधिक स्किल्ड मैनपावर की आवश्यकता है। युवाओं को स्किल्ड बनाने की शुरुआत कहीं से तो होनी थी, खुशी की बात है कि कोटा में आन्या फाउंडेशन ने पहल की है।
जिंदगी को नई दिशा देती है वित्तीय आजादी
आन्या फाउंडेशन की संयोजक अंजलि बिरला ने कहा कि वित्तीय स्वतंत्रता जीवन में आत्मबल और आत्मविश्वास उत्पन्न करती है। इसी सोच के साथ यह कार्यक्रम प्रारंभ किया है, ताकि युवा आत्मनिर्भर बन सकें। कार्यक्रम में जिन सात स्किल्स के प्रशिक्षण को शामिल किया गया है, उसकी काफी मांग है। युवा यदि इन्हें तन्मयता से सीखकर अपना कौशल विकास करते हैं तो आन्या फाउंडेशन भी सफलता की राह में भरोसेमंद साथी के रूप में उनका साथ देगा। कार्यक्रम में वरिष्ठ समाजसेवी और कोटा उपभोक्ता होलसेल भण्डल लि. के अध्यक्ष हरिकृष्ण बिरला, आन्या फाउंडेशन की सहसंयोजक आकांक्षा बिरला तथा आन्या फाउंडेशन की टीम उपस्थित रही।
क्षमताओं को पहचानना जरूरी
कॅरियर पॉइंट ग्रुप के निदेशक ओम माहेश्वरी ने कहा कि स्किल डवलपमेंट व्यक्ति के जीवन को निखारता है। आज के जमाने में युवाओं को स्किल्ड होना बेहद आवश्यक है। यदि वे स्किल्ड होंगे तो ही समाज में अपने लिए कोई मुकाम बना सकेंगे। व्यक्ति स्किल्स के साथ अपनी क्षमताओं को भी पहचाने। उसी दिशा में स्वयं के कौशल में निखार लाए, जिसमें वह पूरी क्षमता से कार्य कर सके।
पौधा हरि की पहल पर किया पौधारोपण
स्किल अप कोटा कार्यक्रम से पूर्व पौधा हरि संस्था की पहल पर पौधारोपण कायक्रम आयोजित किया गया। इसमें बोट के को-फाउंडर अमन गुप्ता, कॅरियर पॉइंट के निदेशक ओम माहेश्वरी व सिविल सेवक अंजलि बिरला ने कॅरियर पॉइंट परिसर में पौधारोपण किया। इस दौरान संस्था से जुड़े नमन माहेश्वरी व अन्य प्रतिनिधि भी मौजूद रहे।