11 दिसंबर 2025,

गुरुवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

Food Poisoning In Sawan: सावन में क्यों बढ़ता है फूड पॉइजनिंग का खतरा? ये चीजें भूलकर भी न खाएं

Food Poisoning In Sawan: सावन का मौसम आते ही शरीर में कई तरह के बदलाव होते हैं, जिससे खाने-पीने पर थोड़ा ध्यान देने की जरूरत है। इस मौसम में food poisoning का खतरा बढ़ जाता है। यहां जानिए इसके पीछे के कारण को। (Causes of food poisoning)

2 min read
Google source verification

भारत

image

MEGHA ROY

Jul 11, 2025

Sawan season food safety tips फोटो सोर्स – Freepik

Sawan season food safety tips फोटो सोर्स – Freepik

Food Poisoning In Sawan: सावन का महीना जहां भक्ति, पूजा-पाठ और हरियाली से भरा होता है, वहीं यह मौसम सेहत के लिहाज से कुछ सतर्कता भी बरतना बेहद जरूरी हो जाता है। खासकर इस महीने में पेट से जुड़ी समस्याएं जैसे फूड पॉइजनिंग, डायरिया, और अपच जैसी परेशानियां आम हो जाती हैं। इसकी बड़ी वजह है बारिश के चलते वातावरण में बढ़ी नमी, जिससे बैक्टीरिया और फंगस तेजी से पनपते हैं।

बारिश के मौसम में खुले में बिकने वाला खाना जल्दी खराब हो जाता है। वहीं, पत्तेदार सब्जियों और दूषित पानी का सेवन फूड पॉइजनिंग के मामलों को बढ़ा सकता है। ऐसे में कुछ चीजें खाने से परहेज करना बेहद ज़रूरी हो जाता है, ताकि आपकी हेल्थ दुरुस्त रहे। और जानते हैं क्यों खान-पान में बरतनी पड़ती है सतर्कता।

क्या है फूड पॉइजनिंग और कैसे फैलता है (Causes of food poisoning in rainy season in hindi)

फूड पॉइजनिंग तब होती है जब हम ऐसा खाना खा लेते हैं जो बैक्टीरिया, वायरस या टॉक्सिन से संक्रमित होता है। बारिश में वातावरण नम होने के कारण खाने-पीने की चीजों में ये जीवाणु आसानी से पनप जाते हैं। इससे पेट दर्द, उल्टी, दस्त, कमजोरी और बुखार जैसे लक्षण दिखाई देते हैं।

सावन में भूलकर भी न खाएं ये चीजें

कटे-फटे फल और सलाद

खुले में कटे हुए फल-सलाद पर जल्दी बैक्टीरिया लगते हैं। बारिश के मौसम में इन्हें खाने से फूड पॉइजनिंग का खतरा कई गुना बढ़ जाता है।

पत्तेदार सब्जियां (जैसे पालक, मेथी, सरसों)

सावन में पत्तेदार सब्जियां कीचड़ और गंदगी से संक्रमित हो सकती हैं। इन्हें खाने से इंफेक्शन और पेट की गड़बड़ी हो सकती है।

दही और छाछ

नमी वाले मौसम में दही या छाछ जल्दी खटास मारने लगती है और इनका सेवन पेट खराब कर सकता है, खासकर अगर ये फ्रेश न हों।

बासी या दोबारा गर्म किया हुआ खाना

बासी खाना बैक्टीरिया का घर बन जाता है, जो दोबारा गर्म करने पर भी पूरी तरह खत्म नहीं होते। इसलिए ताज़ा भोजन ही खाएं।

स्ट्रीट फूड

बारिश में सड़क किनारे मिलने वाला चाट, समोसा, गोलगप्पे जैसे फूड्स पर मक्खियाँ आसानी से बैठती हैं। इनमें हानिकारक बैक्टीरिया पनप सकते हैं।

पैक्ड जूस और फ्रूट ड्रिंक

इनमें प्रिजरवेटिव्स होते हैं, और अगर ये लंबे समय तक खुले हों या सही तापमान में न रखे जाएं, तो फूड पॉइजनिंग का कारण बन सकते हैं।

इन बातों का रखें ध्यान

हमेशा घर का बना ताजा खाना खाएं।

खाना बनाते समय और खाने से पहले हाथ धोना न भूलें।

सब्जियों को अच्छी तरह धोकर पकाएं।

बाहर का खाना, खासकर बारिश में, जितना हो सके अवॉइड करें।

पानी उबालकर या फिल्टर कर पीना सबसे सुरक्षित होता है।

फूड पॉइजनिंग हो जाए तो क्या करें

ORS या नींबू-शक्कर-नमक वाला पानी पिएं ताकि शरीर में पानी की कमी न हो।

बिल्कुल हल्का खाना खाएं, जैसे मूंग दाल का पानी या खिचड़ी।

अगर उल्टी-दस्त ज्यादा हो जाएं तो तुरंत डॉक्टर से सलाह लें।

बिना डॉक्टरी सलाह के दवाइयां न लें।

डिसक्लेमरः इस लेख में दी गई जानकारी का उद्देश्य केवल रोगों और स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के प्रति जागरूकता लाना है। यह किसी क्वालीफाइड मेडिकल ऑपिनियन का विकल्प नहीं है। इसलिए पाठकों को सलाह दी जाती है कि वह कोई भी दवा, उपचार या नुस्खे को अपनी मर्जी से ना आजमाएं बल्कि इस बारे में उस चिकित्सा पैथी से संबंधित एक्सपर्ट या डॉक्टर की सलाह जरूर ले लें।