
उत्तर प्रदेश के बिजली कर्मचारियों का प्रदेशव्यापी हड़ताल का आज तीसरा दिन है। बिजली ना आने से आम लोगों पर असर पड़ने लगा है। इसे लेकर अब उपभोक्ता सड़क पर उतर रहे हैं और बिजली सप्लाई की मांग कर रहे हैं।
शनिवार शाम को ऊर्जामंत्री एके शर्मा और आंदोलनरत विद्युत कर्मचारियों के बीच बैठक हुई। यह बैठक करीब तीन घंटे से अधिक चली लेकिन नतीजा कुछ भी नहीं निकला। आंदोलनरत बिजली कर्मचारी अपने मांग पर अड़े हुए हैं।
मांग कर रहे हैं अजीब- गरीब फरमाइश
प्रदेश में बिजली सप्लाई रुक जाने से अब पुलिसकर्मियों की परेशानी बढ़ गई है। लोग बिजली सप्लाई को लेकर रात में थानाध्यक्षों के सीयूजी नंबर पर कॉल कर अजीब-अजीब फरमाइश कर रहे हैं।
इन्वर्टर काम नहीं कर रहा है कैसे चार्ज करूं मोबाइल?
शुक्रवार को लगभग रात डेढ़ बजे एक थानाध्यक्ष को एक व्यक्ति का कॉल आता है। उधर से बोलता है कि बिजली नहीं आ रही है और इन्वर्टर काम नहीं कर रहा है। मेरे मोबाइल की बैटरी महज तीन परसेंट बची है। बताइए अब रात भर मैं अपनी गर्लफ्रेंड से कैसे बात करूंगा? आप थानाध्यक्ष हैं, आप लोगों को जिम्मेदारी मिली है। इसलिए तुरंत बिजली शुरू कराइए।
इसके अलावा रात दो बजे के एक थानाध्यक्ष को एक व्यक्ति ने कॉल कर बोला कि पुलिस वाले बहुत पहुंच वाले होते हैं। बिजली नहीं है, कहीं से जनरेटर की व्यवस्था करा दीजिए। जिससे हमारी परेशानी दूर हो सके।
रात लगभग ढाई बजे के थानाध्यक्ष के सीयूजी नंबर पर एक व्यक्ति ने कॉल किया। बोला मेरे यहां पर बिजली गुल है, बच्चा रो रहा है। बिजली आपूर्ति शुरू कराइए या तो हमारे घर आकर बच्चे को चुप कराइए।
3 हजार बिजली कर्मचारियों को किया गया बर्खास्त
यूपी सरकार हड़ताल पर गए बिजली कर्मचारियों के खिलाफ सख्त रवैया अपनाया है। शनिवार को सरकार ने यूनियन के 22 नेताओं के खिलाफ एस्मा के तहत मुकदमा दर्ज किया गया। अब किसी भी समय इन्हें अरेस्ट किया जा सकता है। इसके अलावा 29 अन्य लोगों पर भी एफआईआर दर्ज किया गया है। बिजली विभाग ने 3 हजार से अधिक संविदाकर्मियों को नौकरी से निकाल दिया है।
Updated on:
19 Mar 2023 12:07 pm
Published on:
19 Mar 2023 12:04 pm
बड़ी खबरें
View Allलखनऊ
उत्तर प्रदेश
ट्रेंडिंग
