अब लीजिए क्राफ्टेड बीयर की चुस्की आपको बता दें कि आबकारी विभाग उत्तर प्रदेश में कुछ ऐसे बड़े शहर चुन रहा है, जहां के पब और बार में क्राफ्टेड बीयर (ताजी बीयर) की माइक्रो ब्रूअरी लगाई जा सके। आबकारी विभाग अब इसके लिए दो तरह की नियमावली बनाने में जुटा है। शराब बार और बीयर बार में ब्रूअरी के लिए अलग नियमावली बन रही है। दरअसल आबकारी विभाग की कोशिश है बीयर के शौकीनों को यूपी में ही झाग उठती क्राफ्टेड बीयर की चुस्की लेने का मजा मिल सके, साथ ही उसका राजस्व भी बढ़ सके।
लोग जाते थे विदेश दरअसल उत्तर प्रदेश में अभी तक साधारण पॉस्च्युराइज्ड बीयर ही मिलती है। यह बोतल और कैन में ब्रूअरी से आती है और इसकी छह महीने तक इसकी अवधि होती है। मतलब लोगों को चिल्ड बीयर तो मिल जाती है, लेकिन ताजी और झाग उठती बीयर का मजा नहीं मिल पाता है। वहीं दूसरी तरफ आजकल बीयर के शौकीन लोगों में ताजी यानी क्राफ्टेड बीयर का क्रेज बढ़ा है। आपको जानकर हैरानी होगी कि अब से कुछ सालों पहले तक झाग उठती क्राफ्टेड बीयर के लिए लोगों को विदेश तक जाना पड़ता था। हालांकि अब तो कई प्रदेशों ने माइक्रो ब्रूअरी लगाने की परमिशन दे दी है।
विभाग को होगा फायदा आबकारी विभाग का यह भी मानना है कि उत्तर प्रदेश में ताजी बीयर के लिए माइक्रो ब्रूअरी खुलने से एक तरफ तो लोगों को कहीं दूर नहीं जाना पड़ेगा, साथ ही विभाग का राजस्व बढ़ेगा और जॉब के भी मौके बढ़ेंगे। वहीं योगी सरकार के आबकारी मंत्री जय प्रताप सिंह ने बताया कि लोगों में ताजी बीयर का क्रेज देखते हुए बार और पब में माइक्रो ब्रूअरी लगाने की तैयारी चल रही है और इसके लिए नियमावली भी तैयारी हो रही है। जल्द ही प्रदेश में कई शहरों के बार और पब में लोगों को क्राफ्टेड बीयर का मजा मिलेगा।
बीते कुछ सालों में बढ़ा क्रेज आपको बता दें कि बीते कुछ सालों में माइक्रो ब्रूअरी का क्रेज काफी बढ़ा है। जानकारी के मुताबिक पब और बार में माइक्रो ब्रूअरी का प्लांट लगने के बाद पीने वालों के सामने बीयर तैयारी होगी। इससे लोगों को यह भी पता होगा कि बीयर बनती कैसे है। एक माइक्रो ब्रूअरी का प्लांट लगभग 40 से 50 लाख रुपए में लगकर तैयार हो जाता है। तो अगर आप भी झाग उठती ताजा बीयर का मजा लेने के लिए अभी तक दूर जाते हैं, तो अब आपकी ख्वाहिश आपके अपने ही शहर में पूरी होने वाली है।