7 दिसंबर 2025,

रविवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

Health Insurance Policy लेना हुआ महंगा, पॉलिसीधारकों ने कहा अब नहीं कराएंगे बीमा

लोगों को अब स्वास्थ्य बीमा करवाना महंगा पड़ेगा। इंश्योरेंस रेगुलेटरी और डेवेलपमेंट अथॉरिटी इरडा (Insurance Regulatory and Development Authority) ने सभी नेशनल व प्राइवेट इंश्योरेंस कंपनियों को बीमा प्रीमियम के रेट 40-70 फीसदी तक बढ़ाने के निर्देश दे दिए हैं।

2 min read
Google source verification

लखनऊ

image

Abhishek Gupta

Oct 15, 2020

Health insurance

Health insurance

लखनऊ. उपभोक्ताओं को अब स्वास्थ्य बीमा (Health Insurance) करवाना महंगा पड़ेगा।इंश्योरेंस रेगुलेटरी और डेवेलपमेंट अथॉरिटी इरडा (Insurance Regulatory and Development Authority) ने सभी नेशनल व प्राइवेट इंश्योरेंस कंपनियों को बीमा प्रीमियम के रेट 40-70 फीसदी तक बढ़ाने के निर्देश दे दिए हैं। इस खबर के बाद पॉलिसीहोल्डर्स व इच्छुक लोगों की चिंता बढ़ गई है। हेल्थ इन्श्योरेंस के प्रीमियम में एकाएक इतनी बड़ी बढ़ोत्तरी की किसी को उम्मीद नहीं थी। नए फैसले के बाद कई उपभोक्ताओं ने तो बीमा कराने से ही मना कर दिया है, तो कई ने रिन्यूअल कराने से। उनका कहना है कि कंपनियां मनमानी तरीके से दाम बढ़ा रही हैं। ऐसे में उनकी जेब पर काफी असर पड़ेगा। हालांकि कंपनियों का कहना है कि उन्हें कोरोना के दौर में काफी नुक्सान हो रहा है और प्रीमियम बढ़ाने का निर्णय उनका नहीं बल्कि इरडा का ही है।

ये भी पढ़ें- मुलायम सिंह यादव व पत्नी कोरोना पॉजिटिव, अस्पताल में हुए भर्ती

नई बीमारियों को कवर करने के कारण बढ़ा प्रीमियम-

पॉलिसीधारकों के लिए हेल्‍थ इंश्‍योरेंस पॉलिसी के सालाना प्रीमियम में 40-70 फीसदी तक का इजाफा हुआ है। बीमा नियामक इरडा के नए निर्देशों के अमल में आने के बाद इंश्‍योरेंस कंपनियों ने यह कदम उठाया है। कंपनियों ने भी लगातार बढ़ रहे आर्थिक बोझ की ओर इरडा का ध्यान खींचने का कोशिश की है। इसी के साथ ही इरडा के निर्देशानुसार कोविड-19 जैसी महामारी के अतिरिक्त एचआईवी/एड्स, आर्टिफिशियल लाइफ मेनटिनेंस, मानसिक बीमारी का उपचार, मानसिक विकार, उम्र संबंधी बीमारियों को कवर करना अनिवार्य हो गया है। जिसके बाद कंपनियों के पास पॉलिसी की कीमतों को बढ़ाने के अलावा कोई रास्‍ता नहीं है।

ये भी पढ़ें- कोरोना को-वैक्सीन से जुड़ी बड़ी खबर, यूपी में टल गया आखिरी ट्रायल, सीएम ने दी थी मंजूरी

कंपनियों को हो रहा था नुकसान-
लखनऊ में रॉयल सुंदरम इंश्योरेंस पालिसी के असिस्टेंट मैनेजर अजय का कहना है कि पॉलिसी के दाम बढ़ने की कई वजहे हैं। अब जो पॉलिसी होंगी वह comprehensive होंगी। इरडा के निर्देश हैं कि अन्य बीमारियों के अतिरिक्त प्री-एक्सिस्टिंग बीमारीयों या 10 साल पुरानी बीमारियों को भी इंश्योरेंस पॉलिसी कवर करेगी। वहीं उन्होंने कहा कि कंपनियों को भी इस दौरान भारी नुकसान हो रहा था। अस्पतालों द्वारा क्रिटिकल बीमारियों के इलाज का खर्चा भी खूब लिया जा रहा था। इस सवाल पर की क्या आयु वर्ग के हिसाब से पॉलिसी प्रीमियम के रेट तय नए हो सकते थे, इस पर उन्होंने कहा कि अलग-अलग बीमारियों के लिए अलग-अलग पॉलिसी बनाना मुश्किल है।

पॉलिसीधारक परेशान-
लखनऊ निवासी पॉलिसीधारक 37 वर्षीय हरिओम द्विवेदी का कहना है कि यह फैसला समझ से परे हैं। उनके परिवार में उनकी पत्नी व एक बच्चा भी है। उन्होंने बताया कि 70 फीसदी तक की बढ़ोत्तरी यदि हुई तो मेरे लिए इसे रिन्यू करवाना बेहद मुश्किल है। मेरे हेल्थ इंश्योरेंस की प्रीमियम 8000 प्लस थी, जो इस बार 14000 प्लस हो गई है। IRDA ने कैसे इसे मंजूरी दे दी। समझ से परे है। उनका कहना है कि फैसले से कंपनियां मजे करेंगी और हम जैसे लोग परेशान होंगे। अब आमजन या तो महंगी पॉलिसी खरीदें या फिर बिना हेल्थ कवर खुद को राम भरोसे छोड़े। अब देखना है कि इरडा के इस फैसले से लोगों का क्या रुझान रहेगा।