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कई जिलों में बाढ़ का खतरा, नदियों का जलस्तर खतरे के निशान को छूने को व्याकुल

आगरा में हालात इतने खराब हो गए हैं कि एसडीएम ने डीएम से एनडीआरएफ बुलाने की गुहार लगाई है। वहीं जलशक्ति मंत्री ने कहा कि यूपी में बाढ़ के हालात नहीं है।

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लखनऊ

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Nitish Pandey

Aug 06, 2021

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लखनऊ. पहाड़ों पर हो रही बारिश की वजह से नदियों का जलस्तर बढ़ चुका है। कई नदियां उफान पर हैं तो कई गांवों से संपर्क मार्ग कट गया है। जालौन, प्रयागराज और फर्रुखाबाद के कई गांवों में पानी भर चुका है। जलभराव के कारण लोगों का घर से बाहर निकलना मुश्किल हो रहा है। आम जनजीवन बुरी तरह से प्रभावित है। आगरा(Agra) में हालात इतने खराब हो गए हैं कि एसडीएम ने डीएम(DM) से एनडीआरएफ(NDRF) बुलाने की गुहार लगाई है। वहीं जलशक्ति मंत्री ने कहा कि यूपी में बाढ़ के हालात नहीं है।

यह भी पढ़ें : चंबल नदी ने मचाई हाहाकार: घर-स्कूल डूबे, NDRF बुलाने की SDM ने की मांग

गंगा-यमुना नदी का बढ़ा जलस्तर

प्रयागराज में गंगा और यमुना नदी के बढ़ते जलस्तर से निचले इलाके में पानी भारी गया है। जिसको लेकर प्रशासन ने हाई अलर्ट जारी कर दिया है। संगम किनारे स्थित लेटे हुए हनुमान मंदिर तक गंगा का पानी पहुंच गया है। बावजूद इसके मंदिर के पुजारियों ने विशेष पूजा अर्चना की। जालौन में यमुना नदी ने अपना रौद्र रुप दिखाया है। यहां यमुना नदी खतरे के निशान से पांच मीटर ऊपर बह रही है। बाढ़ के चलते दर्जनों गावों का संपर्क टूट गया है। कई गांवों में पानी घुस गया है। जालौन-औरैया स्टेट हाईवे को प्रशासन ने एहतियातन बंद करा दिया है। फर्रुखाबाद में गंगा नदी का जलस्तर खतरे के निशान 136.95 मीटर पर पहुंच गया है। आलम ये है कि बढ़ते जलस्तर से निचले इलाके में खौफ का माहौल है। चार दर्जन गांवों का मुख्यमार्ग से संपर्क टूट गया है। गांवों के लोग पलायन के लिए मजबूर हैं।

गंगा-वरुणा भी उफान पर

पीएम मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में गंगा और वरुणा नदी उफान पर हैं। गंगा का जलस्तर चेतावनी बिंदु तक पहुंच गया है। छह सेंटीमीटर प्रतिघंटे की रफ्तार से जलस्तर बढ़ रहा है। गंगा किनारे अबादी वाले इलाके में पानी घुस गया है।

उरई में सेना ने संभाला मोर्चा

यूपी के उरई में तीन दिनों से बाढ़ से जूझ रहे ग्रामीणों को बचाने के लिए सेना ने मौर्चा संभाल लिया है। शुक्रवार सुबह से ही जवानों ने राहत कार्य शुरू कर दिया। उरई ब्लॉक के बिलौड़, कुसेपुरा, निनवली आदि गावों में बाढ़ में फंसे लोगों को नाव की मदद से जवानों ने निकालना शुरू किया है।

खतरे के निशान से उपर बह रही है चंबल

यूपी के आगरा में चंबल नदी ने अपना रौद्र रूप ले लिया है। बाह तहसील इलाके के 38 गांवों में हाहाकार मचा हुआ है। चंबल नदी खतरे के निशान से चार मीटर ऊपर बह रही है। 14 गांव पानी में डूब गए हैं, इन गांवों में पलायन शुरू हो गया है। 75 परिवारों के करीब 300 लोगों को प्रशासन ने गांवों से निकाल कर ऊंचे स्थान पर पहुंचा दिया है। एसडीएम बाह ने जिलाधिकारी से एनडीआरएफ बुलाने की मांग की है।

घाघरा का जलस्तर घटा, बढ़ा कटान का खतरा

मऊ में घाघरा का जलस्तर घटने लगा है। पानी कम होने से कटान का खतरा बढ़ गया है। घाघरा इस समय खतरा बिंदु 69.90 मीटर से 22 सेमी नीचे बह रही है। बारिश का मौसम शुरू होने से पहले शासन ने कटान को रोकने के कई तरह के दावे किए थे और इसके लिए करोड़ों का धन आवंटित हुआ था जबकि बारिश होते ही शासन के सभी दावों की हवा निकल चुकी है।

यूपी में बाढ़ के हालात नहीं: महेंद्र सिंह

एक टीवी इंटरव्यू के दौरान यूपी सरकार के जलशक्ति मंत्री महेंद्र सिंह ने कहा कि राज्य में बाढ़ के हालात नहीं है। बाढ़ की स्थिति नियंत्रण में है। बाढ़ नियंत्रण के क्षेत्र में योगी सरकार ने शानदार काम किया है। महेंद्र सिंह ने आगे कहा कि जल स्तर जरूर बढ़ा है, लेकिन पानी नहीं भरा है। यूपी में जनहानि-धनहानि व पशुहानि किसी प्रकार की कोई हानि नहीं है, जो जमीनों का पटाव प्रभावित होने वाला क्षेत्रफल था वो 2015 और 2016 में 15 लाख हेक्टेयर बाढ़ से प्रभावित हुआ था, लेकिन अब प्रदेश बाढ़ से पूरी तरह से सुरक्षित है।

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