8 दिसंबर 2025,

सोमवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

International Population Day 2019 : देश में हर सेकेंड पैदा होते हैं 4 बच्चे, यूपी के बारे में है ये हैरान कर देने वाली जानकारी

-International Population Day 2019 आंकड़ों के मुताबिक दिन में हर सेकेंड में 4 बच्चे जन्म लेते हैं और 2 लोग मर जाते हैं

2 min read
Google source verification

लखनऊ

image

Ruchi Sharma

Jul 02, 2019

saharanpur

जनसंख्याा

लखनऊ.International population day 2019 हर साल 11 जुलाई को मनाया जाता है। जनसंख्या दिवस को मनाने का उद्देश्य जनसंख्या के प्रति जागरुकता बढ़ाने का है। इस दिन को मनाने की वजह दुनिया में बढ़ती जनसंख्या है। आंकड़ों के मुताबिक दिन में हर सेकेंड में 4 बच्चे जन्म लेते हैं और 2 लोग मर जाते हैं। यानी जनसंख्या तेजी से बढ़ रही है। ऐसा कहा जा रहा है कि दुनिया में 2050 तक 70 फीसदी पॉपुलेशन शहरों में रहेगी। उत्तर प्रदेश (Population of Uttar Pradesh) की बाद करें तो 2011 की जनगणना के जनगणना के अनुसार यूपी में कुल 19.98 करोड़ जनसंख्या थी। लेकिन 2019 में यह लगभग तीन करोड़ बढ़कर 22.88 करोड़ हो गई है। एक रिसर्च के मुताबिक यह हैरान कर देने वाली बात सामने आई कि दुनिया में केवल 5 देश चीन, भारत, संयुक्त राज्य अमेरिका इंडोनेशिया और ब्राजील की जनसंख्या भारत के इस राज्य उत्तर प्रदेश से ज्यादा है। उत्तर प्रदेश में लगभग 79.73% हिंदू जनसंख्या रहती है जबकि जबकि 19.26% मुसलमान जनसंख्या निवास करती है। मतलब दूसरे लोग धर्मों के लोगों की जनसंख्या यहां पर सिर्फ 1% से भी कम हैं।

यह भी पढ़ें- उपचुनाव से ठीक पहले मायावती ने बुलाई बसपा नेताओं की बैठक, होने जा रहा यह बड़ा ऐलान, मची हलचल


जानिए, क्यों मनाया जाता है जनसंख्या दिवस

आज से करीब 50 साल पहले दुनिया की आबादी 500 करोड़ हो गई थी। जिसके बाद जनसंख्या के प्रति जागरुकता बढ़ाने के लिए इस दिन को विश्व जनसंख्या दिवस घोषित किया गया। बताया जा रहा है कि यह दिवस मनाने से काफी असर बड़ा है और ग्रोथ रेट 1.79 फीसदी से बढ़कर 1.09 फीसदी हो गई है।

इसके महत्व क्या है

विश्व जनसंख्या दिवस एक विशाल पैमाने पर बढ़ती दुनिया की आबादी को नियंत्रित करने की आवश्यकता और महत्व पर केंद्रित है। विश्व जनसंख्या दिवस 2018 हालांकि परिवार नियोजन के महत्व पर केंद्रित है। जिसका नारा है परिवार नियोजन एक मानव अधिकार है।

2018 में ये थे उद्देश्य

-ये दिन युवा लड़कों और लड़कियों को सशक्त बनाने के लिए मनाया जाता है।
-युवा आयु में अवांछित गर्भधारण से बचने के लिए उचित और युवा-अनुकूल तकनीकों के बारे में उन्हें शिक्षित करना।
-लड़कियों और लड़कों दोनों के लिए प्राथमिक शिक्षा की पहुंच सुनिश्चित करना।
-समाज से ***** रूढ़िवाद को दूर करने के लिए लोगों को शिक्षित करना।
-यौन संचारित संक्रमणों के बारे में लोगों को शिक्षित करना और उन्हें कैसे रोका जा सकता है।
-प्रत्येक जोड़े को प्रजनन स्वास्थ्य देखभाल सेवाओं तक आसान पहुंच सुनिश्चित करना।
-एक लड़की के अधिकारों की सुरक्षा के लिए कुछ कानूनों की मांग करना।