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जिस IPS अफसर के लिए सड़क पर उतरीं ममता बनर्जी, खुल गया उनका सबसे बड़ा राज, यहां से है पुराना नाता

पश्चिम बंगाल में सरकार बनाम सीबीआई के विवाद को लेकर मुख्यमंत्री ममता बनर्जी का धरना जारी है।

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लखनऊ

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Akansha Singh

Feb 05, 2019

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आईपीएस ऑफिसर राजीव कुमार लखनऊ से है गहरा नाता

लखनऊ. पश्चिम बंगाल में सरकार बनाम सीबीआई के विवाद को लेकर मुख्यमंत्री ममता बनर्जी का धरना जारी है। लेकिन जिस आईपीएस अफसर राजीव कुमार के लिए वह केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार से आर-पार के लिए उतर आई हैं, उनका उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ से भी पुराना नाता रहा है।

लखनऊ में रहता था राजीव का परिवार

आईपीएस राजीव कुमार का परिवार कभी लखनऊ के निराला नगर में रहता था लेकिन बाद में वे कोलकाता शिफ्ट हो गये। उनकी प्रारंभिक शिक्षा ट्रांस गोमती के माउंट कार्मेल स्कूल में हुई थी, लेकिन राजीव कुमार के बचपन में ही उनका परिवार लखनऊ छोड़कर कोलकाता चला गया था। राजीव कुमार 1989 बैच के यूपी कैडर के आईपीएस अधिकारी हैं। राजीव कुमार के पिता उत्तर प्रदेश के चंदौसी में एक कॉलेज के प्रोफेसर थे। राजीव का परिवार चंदौसी में ही रहता है। उन्होंने एसएम कॉलेज से पढ़ाई की और फिर आईएएस की परीक्षा में सफलता हासिल की। आईपीएस अधिकारी बनने के बाद राजीव पश्चिम बंगाल आ गए। फिलहाल राजीव कुमार पश्चिम बंगाल पुलिस में कोलकाता कमिश्नर के पद पर तैनात हैं।

2011 से है ममता बनर्जी और IPS राजीव कुमार का नाता

एक मीडिया रिपोर्ट में रिटायर्ड आईपीएस अफसर के हवाले से बताया गया है कि एक समय ममता ने राजीव पर लेफ्ट सरकार के इशारे पर उनकी जासूसी करने का आरोप लगाया था। साल 2011 में सत्ता में आने के 24 घंटों के भीतर ममता ने राजीव के बारे में पूछताछ करवाई थी और तब सीनियर अफसर अगर राजीव के पक्ष में खड़े न रहते तो उनकी छुट्टी तय थी। हालांकि इसके बाद हालात पूरी तरह बदल गए। राजीव पहले कोलकाता पुलिस चीफ बने जिनका ऑफिस राज्य सचिवालय में था। मीडिया रिपोर्टों के मुताबिक, वह रोजाना सीएम को ब्रीफिंग देते हैं। यहां तक कि 2500 करोड़ रुपये के सारदा स्कैम और करीब 17,000 करोड़ रुपये के रोज वैली स्कैम की जांच, जिसमें ममता की पार्टी के भी लिंक सामने आए हैं, उनकी जांच का जिम्मा ममता ने राजीव को ही सौंपा था।

ऐसे आये थे चर्चा में

आईआईटी रुड़की से कंप्यूटर साइंस में इंजिनियरिंग करने वाले इस आईपीएस को इलेक्ट्रॉनिक सर्विलांस में भी माहिर माना जाता है। उन्होंने कई अपराधियों को टेक्नॉलजी की मदद से ही पकड़ा और इसी से वह काफी चर्चित हो गए। 90 के दशक में राजीव कुमार ने पश्चिम बंगाल में कोयला माफिया के खिलाफ जोरदार अभियान चलाकर पुलिस की हनक कायम की। कुख्यात नक्सली छत्रधर महतो को पकड़ने के अभियान में भी वह शामिल रहे। बता दें बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह ने आरोप लगाया कि राजीव विपक्षी नेताओं की अवैध तरीके से सर्विलांस कर जासूसी करते हैं। राजीव कुमार विधाननगर के पुलिस आयुक्त और कोलकाता पुलिस के स्पेशल टास्क फोर्स के चीफ रह चुके हैं।