
मां महागौरी
नवरात्रि के आठवें दिन मां महागौरी की पूजा का विधान है। मां महागौरी दांपत्य जीवन के कष्ट दूर करने वाली हैं। नवरात्रि का आठवां दिन यानी महा अष्टमी तिथि भी बहुत महत्वपूर्ण मानी जाती है। इस साल चैत्र नवरात्रि की अष्टमी 29 मार्च को है। इस दिन मां महागौरी की पूजा होती है। इसे दुर्गाष्टमी भी कहते हैं। इस दिन कन्या पूजन का भी विधान बताया गया है।
अष्टमी और नवमी को जरूर रखें व्रत
श्रीमद देवी भागवत में कहा गया है कि नवरात्रि में अगर नौ दिन तक पूजा और व्रत न कर पाएं तो अष्टमी और नवमी के दिन व्रत रखकर देवी का उपासना करने से पूरे नौ दिन की पूजा का फल मिलता है। इस दिन देवी की पूजा के बाद कन्या पूजन का भी विधान बताया गया है। ज्योतिष शास्त्र में मां महागौरी का संबंध शुक्र ग्रह से बताया गया है। इनकी अराधना से वैवाहिक जीवन में सुख-शांति आती है। आइए जानते हैं चैत्र नवरात्रि की महाष्टमी पर मां महागौरी की पूजा विधि, मंत्र, उपाय और मुहूर्त।
मां महागौरी की पूजा विधि
श्री मद देवी भागवत के अनुसार "मां महागौरी को सफेद रंग बहुत प्रिय है। इनका भोग नारियल है। चैत्र नवरात्रि की महा अष्टमी के दिन मां दुर्गा की आठवीं शक्ति देवी महागौरी की पूजा में श्वेत वस्त्र धारण करें। घर की छत पर लाल रंग की ध्वजा लगाएं। देवी महागौरी को चंदन, रोली, मौली, कुमकुम, अक्षत, मोगरे का फूल अर्पित करें। देवी के सिद्ध मंत्र श्री क्लीं ह्रीं वरदायै नम: का जाप करें। माता के प्रिय भोग नारियल का प्रसाद चढ़ाएं। फिर 9 कन्याओं का पूजन कर उन्हें भोजन कराएं। संधि काल में भी माता की पूजा करें।"
चैत्र शुक्ल अष्टमी पर यह हैं चौघड़िया मुहूर्त
लाभ (उन्नति) - सुबह 06.15 - सुबह 07.48
अमृत (सर्वोत्तम) - सुबह 07.48 - सुबह 09.21
शुभ (उत्तम) - सुबह 10.53 - दोपहर 12.26
शोभन योग - 28 मार्च 2023, रात 11.36 - 30 मार्च 2023, प्रात: 12.13
रवि योग - 29 मार्च 2023, रात 08.07 - 30 मार्च 2023, सुबह 06.14
मां महागौरी की पूजा के समय यह करें उपाय
नवरात्रि की महाअष्टमी पर मां महागौरी या अपनी कुल देवी को लाल चुनरी में 5 सूखे मेवे, बताशे और सिक्का रखकर अर्पित करें। घी का दीपक लगाकर ॐ देवी महागौर्यै नमः मंत्र का 108 बार जाप करें। अब सौभाग्य प्राप्ति और सुहाग की मंगल कामना के लिए माता से प्रार्थना करें।
धन धान्य की देवी हैं मां महागौरी
मान्यता है महा अष्टमी की पूजा से कुल में चली आ रही मुसीबतें और परेशानियां कम होती हैं। साथ ही कन्या भोजन कराने से घर में धन-धान्य के भंडार भरे रहते हैं। वैवाहिक जीवन में चल रहा मनमुटाव खत्म होता है। विवाह संबंधित अड़चनें दूर होती हैं। छात्र वर्ग महाअष्टमी के दिन माता को लौंग की माला चढ़ाएं, साथ ही देवी के मंदिर में ध्वजा अर्पित करें।
यह हैं मां महागौरी के मंत्र
श्री क्लीं ह्रीं वरदायै नम:
ललाटं कर्णो हुं बीजं पातु महागौरी मां नेत्रं घ्राणो। कपोत चिबुको फट् पातु स्वाहा मा सर्ववदनो॥
या देवी सर्वभूतेषु मां गौरी रूपेण संस्थिता। नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नम:।।
श्वेते वृषे समरूढा श्वेताम्बराधरा शुचिः। महागौरी शुभं दद्यान्महादेवप्रमोददा।।
Published on:
28 Mar 2023 11:50 pm
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