
हेल्थकेयर का होगा डॉक्यूमेंटेशन और रैंपिडअसेसमेंट
मंडला. जिले में अप्रैल से जून माह के दौरान ट्राइबल हेल्थ केयर के डॉक्यूमेंटेशन और रैपिड असेसमेंट का कार्य संपादित किया जाएगा। इस कार्य को संपादित करने के लिए जिले के गजेंद्र गुप्ता और अजय कुमार मरकाम ने जनजातीय स्वास्थ्य प्रथाओं के प्रलेखन और मूल्यांकन पर बेंगलुरू में आयोजित राष्ट्रीय स्तर के तीन दिवसीय प्रशिक्षकों का प्रशिक्षण में सहभागिता की। प्रशिक्षण का आयोजन टाटा स्टील फाउंडेशन एवं यूनिवर्सिटी ऑफ ट्रांस-डिसिप्लिनरी हेल्थ साइंसेज एंड टेक्नोलॉजी(टीडीयू), बेंगलुरू के सेन्टर फॉर लोकल हेल्थ ट्रेडिशन्स एंड पॉलिसी ने संयुक्त रूप से किया। देश का यह पहला प्रशिक्षकों का प्रशिक्षण कार्यक्रम था, जिसमें सात राज्यों से उन्नीस प्रतिभागियों ने प्रशिक्षण प्राप्त किया। प्रशिक्षण में ट्राइबल हेल्थ केयर के डॉक्यूमेंटेशन और रैपिड असेसमेंट पर विशेष रूप से प्रशिक्षण प्रदान किया गया। समापन कार्यक्रम के मुख्य अतिथि रिटायर्ड आईएफएस और टीडीयू के रजिस्ट्रार डॉ अतुल कुमार गुप्ता, रिटायर्ड आईएफएस के हाथों गजेंद्र गुप्ता को प्रमाण-पत्र मिला। समापन समारोह को संबोधित करते हुए गजेंद्र गुप्ता ने प्रशिक्षिण कार्यक्रम की विशिष्टता एवं कार्यक्रम के सीख पर अपनी बात रखी। प्रशिक्षण के दौरान प्रशिक्षणार्थियों ने टीडीयू गार्डन का ट्रांसेटवॉक कर पांच सौ से अधिक प्रजाति के औषधि पौधों की जानकारी प्राप्त की। आयुर्वेद बायोलॉजी एंड होलिस्टिक न्यूट्रिशन सेंटर में औषधि पौधों के औषधीय गुणों के परीक्षण के संबंध में जानकारी दी गई। एफआरएलचटी के नर्सरी में होम हर्बल गार्डन के संबंध में विस्तार से जानकारी दी गई। यह नर्सरी भारत सरकार के पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय का राष्ट्रीय उत्कृष्टता केन्द्र है। प्रशिक्षणार्थियों ने नेशनल हरबेरियम सेंटर में चालीस हजार से अधिक वनस्पतियों के हरबेरियम का अवलोकन किया। औषधि निर्माण केन्द्र में आधुनिकतम मशीनों से औषधि निर्माण की प्रक्रिया के बारे में प्रशिक्षणार्थियों ने विस्तार से जानकारी प्राप्त की।
Published on:
03 Apr 2022 01:36 pm
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