29 दिसंबर 2025,

सोमवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

डोनाल्ड ट्रंप ने जारी किया नया आदेश, अमरीका में नौकरी कर रहे भारतीयों पर गिर सकती है बड़ी गाज

डोनाल्ड ट्रंप ने अमरीका के आव्रजन अधिकारियों को एक एेसा आदेश दिया है जिसके बाद अमरीका में H-1 B वीजा पर रह रहे भारतीय को वापस अपने देश लौटना पड़ सकता है।

2 min read
Google source verification
Visa Application

अमरीका में नौकरी कर रहे भारतीयों पर गिरेगी बड़ी गाज, इस कारण वापस आना पड़ सकता है भारत

नई दिल्ली। ट्रेड वॉर के चलते अमरीका और भारत में आई खटास अभी दूर नहीं हुई थी कि अमरीकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने एक एेसा आदेश दिया है जिससे दोनों देशों के बीच आई खटास की खाई और बढ़ सकती है। डोनाल्ड ट्रंप ने अमरीका के आव्रजन अधिकारियों को एक एेसा आदेश दिया है जिसके बाद अमरीका में H1 B वीजा पर रह रहे भारतीय को वापस अपने देश लौटना पड़ सकता है। अमरीका की यह नई नीति 11 सितंबर से लागू होगी।

आव्रजन अधिकारियों को दिया वीजा आवेदन रद्द करने का अधिकार

अमरीकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने अमरीका के आव्रजन अधिकारियों (इमिग्रेशन अधिकारियों) को वीजा आवेदन रद्द करने का अधिकार दे दिया है। ट्रंप ने कहा है कि जिन आवेदनों के साथ जरूरी प्रारंभिक साक्ष्य जमा नहीं कराए जाते हैं, उन्हें आव्रजन अधिकारी सीधे खारिज कर सकते हैं। इसके अलावा वीजा प्राप्त करने के लिए योग्यता साबित नहीं करने पर भी आवेदन खारिज किया जा सकता है। जानकारों के अनुसार अमरीका के इस नए नियम का सबसे ज्याद असर H1 B वीजा धारकों पर पड़ेगा।

लौटना पड़ सकता है भारत

अमरीकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की ओर से लागू की गई नई नीति के लागू होने का बाद बड़ी संख्या में भारतीयों को अपने देश वापस लौटना पड़ सकता है। दरअसल नई नीति में वीजा आवेदन खारिज होने पर आवेदक को अमरीका से निकालने का भी प्रावधान किया गया है। एेसे में यदि किसी भारतीय का H1 B वीजा का आवेदन खारिज होता है तो उसे भारत वापस लौटना पड़ सकता है। यूनाइटेड स्टेट्स सिटिजनशिप एंड इमिग्रेशन सर्विसेज (यूएससीआईएस) ने 13 जुलाई को अपनी नीति में बदलाव किया है।

अभी रद्द नहीं होता था आवेदन

आव्रजन कानूनों के जानकारों के अनुसार अभी तक आवेदकों को अपना पक्ष रखने और साक्ष्य जमा करने का मौका दिया जाता था। इसके बिना आवेदन खारिज नहीं किया जाता था। अब इस कानून में बदलाव कर दिया गया है। हालांकि नए नियमों में इसकी पूरी तरह से व्याख्या नहीं की गई है। नए नियमों में बदलाव के बाद अमरीकी अधिकारियों का कहना है कि इससे फर्जी आवेदनों पर संकट बढ़ेगा। वहीं आव्रजन कानूनों के जानकारों का मानना है कि इससे इमिग्रेशन प्रोसेस जटिल हो सकता है।