21 दिसंबर 2025,

रविवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

Corona Third Wave : जनवरी के बाद इस माह में पीक पर होगी तीसरी लहर, भयावह हो सकते हैं हालात

Corona Third Wave : कोरोना की पहली और दूसरी लहर से लड़ चुके मेरठवासियों के लिए अब तीसरी लहर चुनौती बन रही है। तीसरी लहर की शुरूआत मेरठ में हो चुकी है। जिस तरह से केस मिलने शुरू हुए हैं। उससे अंदाज लगाया जा रहा है कि तीसरी लहर जनवरी के बाद मेरठ में अपने पीक पर होगी।

2 min read
Google source verification

मेरठ

image

Kamta Tripathi

Jan 08, 2022

Corona Third Wave : जनवरी के बाद पीक पर होगी तीसरी लहर,भयावह हो सकते हैं हालात

Corona Third Wave : जनवरी के बाद पीक पर होगी तीसरी लहर,भयावह हो सकते हैं हालात

पत्रिका न्यूज नेटवर्क
मेरठ . Corona Third Wave : जनवरी के बाद मेरठ में तीसरी लहर अपने पीक पर होगी। ऐसा चिकित्सा विशेषज्ञों का मानना है। इस समय कोरोना के मरीजों की संख्या हजार पार कर गई है। मेरठ में तीन दिन से लगातार सैकड़ों की संख्या में मरीज मिल रहे हैं। जिससे स्थिति भयावह होती जा रही है। इस समय मेरठ में सक्रिय मरीजों की संख्या 1038 तक पहुंच गई है।

पिछले 24 घंटे में 405 लोग कोरोना संक्रमित पाए गए हैं। जिले में अब तक 3 कोरोना संक्रमितों की मौत हो चुकी है। अस्पताल में भर्ती मरीजों की संख्या 20 तक पहुंच गई है। वहीं घर पर 1019 संक्रमित लोग अपना इलाज करा रहे हैं। सीएमओ डा0 अखिलेश मोहन ने बताया कि इस समय बहुत सावधान रहने की जरूरत हैं। अगर अभी सतर्क न हुए तो स्थिति दूसरी लहर से भी भयावह होगी। उन्होंने लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी है।

सीएमओ ने कहा कि मास्क के साथ दो गज की दूरी और सैनिटाइजर का प्रयोग ही इस बीमारी से बचने का एकमात्र उपाय है। इसी के साथ उन्होंने जिले के लोगों से अनुरोध किया है कि अगर किसी ने वैक्सीन नहीं लगवाई है तो वे तुरंत वैक्सीन लगवाने के लिए आगे आए। आसपास अगर कोरोना का कोई भी संदिग्ध मरीज मिलता है तो इसकी सूचना तुरंत स्वास्थ्य विभाग और कोविड कमांड को दें।

यह भी पढ़े : Corona Third Wave : वैक्सीन लेने वाले इस कारण से हो रहे संक्रमित,विशेषज्ञ ने बताई ये वजह

मेरठ में दूसरी लहर का कहर नहीं भूले लोग
मेरठ में कोरोना की दूसरी लहर का कहर लोग नहीं भूले हैं। दूसरी लहर में कोरोना ने हजारों जान ले ली थी। आक्सीजन की कमी के चलते लोगों को अपनी जान से हाथ धोना पड़ा था। मेरठ में हालात यहां तक पहुंच गए थे कि शवों को मुखाग्नि देने के लिए लोगों को कई कई दि न तक इंतजार करना पड़ा था। अस्पतालों में मरीजों को भर्ती करने के लिए जगह नहीं थी। ये हालात सिर्फ मेरठ ही नहीं बल्कि पूरे एनसीआर में थे। स्थिति काफी भयावह हो गई थी। कुछ वैसे ही हालात अब तीसरी लहर में बन रहे हैं।