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अब घर बैठे फाइल करें अपना Income Tax Return, जानिये पूरा Process

Highlights: -खुद इन तीन तरीकों से आप भरिए अपना आयकर रिटर्न — वकील और इनकमटैक्स कार्यालय जाने के झंझट से बचें — आनलाइन में सिर्फ आईटीआर—1 और आईटीआर—4 ही होगा भरना — साफ्टवेयर विकल्प है सबसे बेहतरीन

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मेरठ

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Rahul Chauhan

Feb 02, 2021

पत्रिका न्यूज नेटवर्क

मेरठ। ITR यानी आयकर रिटर्न (Income Tax Returen) भरने के बाद तमाम सरकारी सुविधाओं का लाभ उठाया जा सकता है। लेकिन बहुत से लोग आयकर रिटर्न भरने से सिर्फ इसलिए बचते हैं कि उन्हें इनकमटैक्स वकील से मिलना होगा और तमाम परेशानियों का सामना करना होगा। लेकिन ऐसा कुछ नहीं है। अब आयकर रिटर्न भरना बहुत ही सरल है। हर व्यक्ति आयकर रिटर्न भर सकता है। सरकार ने आयकर रिटर्न भरने के नियमों को काफी सरल कर दिया है। इसे अब ऑफलाइन, ऑनलाइन और सॉफ्टवेयर यानी तीन तरीकों से भरा जा सकता है। ऑफलाइन मोड में तो सभी प्रकार के आईटीआर फॉर्म्स भरे जा सकते हैं लेकिन ऑनलाइन सिर्फ आईटीआर-1 और आईटीआर-4 ही भरे जा सकते हैं। इसके बाद तीसरे विकल्प के तौर पर सॉफ्टवेयर है जो सबसे बेहतर कहा जा सकता है। सॉफ्टवेयर से सभी प्रकार के आईटीआर भरे जा सकते हैं।

1. ऑफलाइन- जावा या एक्सेल फॉर्मेट में एप्लिकेबल आईटीआर फॉर्म डाउनलोड कर उसे ऑफलाइन भरें। एक्सएमएल जेनेरेट कर उसे ई-फाइलिंग पोर्टल पर लॉग इन करके अपलोड करें। इस मोड के जरिए सभी प्रकार के आईटीआर फॉर्म भरे जा सकते हैं।

2. ऑनलाइन- ई-फाइलिंग पोर्टल पर लॉग इन कर ऑनलाइन रिटर्न तैयार कर सबमिट कर दें। हालांकि ऑनलाइन मोड में सिर्फ आईटीआर-1 और आईटीआर-4 ही फाइल किया जा सकता है।

3. टैक्स रिटर्न फाइलिंग सॉफ्टवेयर के जरिए

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इस तरह फाइल करें आईटीआर :—

ऑफलाइन ITR फाइल

-सबसे पहले इनकम टैक्स की ई-फाइलिंग पोर्टल पर जाएं।

-इसके बाद आईटी रिटर्न प्रिपरेशन सॉफ्टवेयर पर क्लिक करें और उसके बाद मेन्यू में जाकर डाउनलोड पर क्लिक करना है। अपना असेसमेंट ईयर चुनें और एप्लिकेबल आईटीआर अपनी सुविधानुसार जावा या एक्सेल फॉर्मेट में डाउनलोड करें।

-इसके बाद आईटीआर फॉर्म को भरें। आईटीआर फॉर्म में भरी गई सभी जानकारी को वैलिडेट करें और टैक्स की गणना करें। एक्सएमएल को जेनेरेट कर सेव करें।

-ई-फाइलिंग पोर्टल में लॉग इन करें और ई-फाइल मेन्यू के तहत इनकम टैक्स रिटर्न को सेलेक्ट करें। पैन उसमें पहले से भरा आएगा। अपना एसेसमेंट इयर, आईटीआर फॉर्म नंबर, फाइलिंग टाइप (ओरिजिनल या रिवाइज्ड रिटर्न) और सबमिशन मोड (अपलोड एक्सएमएल) चुनें।

-अपने आईटीआर को वेरिफाई करने के लिए नीचे लिखे किसी भी ऑप्शन को सेलेक्ट करें। डिजिटल सिग्नेचर सर्टिफिकेट, आधार ओटीपी, माय अकाउंट के तहत जेनेरेट ईवीसी विकल्प के जरिए पहले से ही जेनेरेट किया हुआ ईवीसी। अपनी आईटीआर एक्सएमएल फाइल को अटैच कर सबमिट पर क्लिक करें। इसके बाद आईटीआर को सबमिट कर दें।

ऑनलाइन रिटर्न फाइल

-इस मोड से सिर्फ आईटीआर-1 और आईटीआर-4 ही फाइल हो सकते हैं. इसके तहत वेतन से होने वाली आय और (या) अन्य स्रोत से या हाउस प्रॉपर्टीज से होने वाली आय वाले ही आईटीआर फाइल कर सकते हैं।
-इनकम टैक्स की ई-फाइलिंग पोर्टल पर जाएं। ई-फाइलिंग में लॉग इन करिए और उसके बाद ई-फाइल मेन्यू के तहत इनकम टैक्स रिटर्न सेलेक्ट करिए।

-पैन उसमें पहले से भरा (ऑटो पॉपुलेटेड) आएगा। अपना एसेसमेंट इयर, आईटीआर फॉर्म नंबर, फाइलिंग टाइप (ओरिजिनल या रिवाइज्ड रिटर्न) और सबमिशन मोड (प्रिपेयर एंड सबमिट ऑनलाइन) चुनें। आईटीआर फॉर्म में एप्लिकेबल और मैंडेटरी फील्ड्स भरें। इसके बाद “Taxes Paid and Verification” टैब में वेरिफिकेशन ऑप्शन चुनिए। इसके बाद आईटीआर सबमिट करें।

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सॉफ्टवेयर तरीके से ऐसे भरे आरटीआर

यह मोड सबसे बेहतर कहा जा सकता है और इसमें सभी प्रकार के आईटीआर फाइल किए जा सकते हैं। सॉफ्टेवयर के जरिए आईटीआर भरना आसान है क्योंकि इसे यूजर प्रिफरेंसेज और उनकी जरूरतों के मुताबिक डिजाइन किया गया है। इसके अलावा यह बार-बार एक डेटा भरने की जरूरत खत्म कर देता है और एक बार बनाए गए मास्टर डेटा से जरूरी डेटा ले लेता है। सॉफ्टवेयर कंपेरिजन, रिकांसिलेशन और एरर रेक्टिफिकेशन की सुविधा प्रदान करता है। रिटर्न फाइल करने से पहले यूजर सॉफ्टवेयर की मदद से प्रिफिल यानी पहले से भरा हुआ फॉर्म प्राप्त कर सकता है और गलती सुधार सकता है। इससे यूजर को कानूनी अड़चनों में बच रहता है।