
मेरठ। चिकित्सा का जब भी जिक्र होता है तो आपकी आंखों के सामने रेडक्रास का संकेत आ जाता है। कोई भी अनजान व्यक्ति रेडक्रास का संकेत देखकर अंदाजा लगा लेता है कि यहां चिकित्सा संबंधी कोई बात कही जा रही है। अस्पतालों, नर्सिंग होम, चिकित्सक क्लीनिक, डिस्पेंसरी, एंबुलेंस, दवा बिकने, मेडिकल कैंप समेेत अन्य स्थानों पर लाल रंग का प्लस का यह निशान बताता है कि यहां चिकित्सा संबंधी बात की जा रही है। यानी चिकित्सा से जुड़ा हर व्यक्ति इस रेडक्रास निशान का उपयोग करता है। बहुत कम लोगों को मालूम होगा कि चिकित्सा के लिए रेडक्रास (लाल प्लस का निशान) का निशान ही क्यों प्रयोग होता है।
इसलिए प्रयोग होता है
दरअसल, कहीं भी रेेडक्रास का चिन्ह देखकर लोग यह तो समझ जाते हैं कि चिकित्सा संबंधी मामला है, लेकिन इस चिन्ह का ही प्रयोग क्यों होता है, इसके बारे में जानेंगे तो हैरान रह जाएंगे। चिकित्सा के क्षेत्र में रेडक्रास (लाल रंग का प्लस) इसलिए प्रयोग में लाया जाता है,ताकि इमरजेंसी समय में इससे जल्दी पहचान लिया जाए। चिकित्सा क्षेत्र में इसलिए इसका प्रयोग किया जाता है।
इसके पीछे है ये वजह
चिकित्सा में रेडक्रास निशान का प्रयोग रेडक्रास नाम के स्वैछिक संगठन के कारण किया जाता है। रेडक्रास संगठन की स्थापना स्विट्जरलैंड के जिनेवा शहर में हेनरी डुनेंट और गुस्ताव मोनियर ने 1863 में स्थापित की थी। इस संगठन का मुख्य उद्देश्य विश्व में युद्ध के समय घायलों का उपचार करना था। इस संगठन के लोग चिन्ह रेडक्रास के कारण आसानी से पहचाने जाते थे और उन्हें युद्ध में आसानी से जाने दिया जाता था। इस संगठन ने कई युद्धों में घायलों का उपचार भी किया। तब से चिकित्सा के क्षेत्र में रेडक्रास का प्रयोग होने लगा। इसका लाभ यह हुआ कि अगर कोई पढ़ा-लिखा भी नहीं है तो लाल प्लस का निशान देखकर आसानी से समझ जाता है कि चिकित्सा क्षेत्र से जुड़ी बात है। सड़क पर एंबुलेंस जब मरीज लेकर निकलती है तो इस चिन्ह को देखते ही लोग अलर्ट हो जाते हैं और उसके लिए रास्ता छोड़ देते हैं।
Published on:
03 Sept 2019 06:32 pm
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