
पिता लालू जी के बारे में तेजस्वी बोले - अद्भुत और बिरला इंसान हैं।
नई दिल्ली। आज बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री आरजेडी प्रमुख लालू प्रसाद यादव ( Lalu Prasad Yadav ) का जन्मदिन है। इस मौके पर पार्टी के नेता व कार्यकर्ता बिहार में लालू का जन्मदिन ( Lalu Birthday ) मना रहे हैं। दूसरी तरफ उनके छोटे बेटे तेजस्वी यादव उनसे मिलने रांची पहुंचे।
लालू से मिलने रांची पहुंचे बिहार विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ( Tejashwi Yadav ) ने भी इस मौके पर बिहार के लोगों के नाम एक भावकु चिट्ठी ( Emotional Letter ) लिखी है। इस चिट्ठी में तेजस्वी ने अपने पापा को बधाई दी है, तो साथ ही बिहार के लोगों से एक अपील भी की है।
इसके अलावा तेजस्वी यादव ने इमोशनल चिट्टी और पिता के साथ एक फोटो भी पोस्ट की है। तेजस्वी से पहले तेजप्रताप यादव ( Tejpratap Yadav ) और राबड़ी देवी ( Rabri Devi ) ने भी ट्वीट करके लालू प्रसाद को जन्मदिन की शुभकामनाएं दी हैं। साथ ही पूरे बिहार से लालू को बधाई देने का सिलसिला जारी है।
बता दें कि अक्टूबर- नवंबर में बिहार विधानसभा का चुनाव ( Bihar assembly Election ) है। विधानसभा चुनाव की तैयारियों को लेकर सभी पार्टियां मैदान में उतर चुकी हैं। ऐसे में तेजस्वी के लिए अपने पिता लालू के जीवन व व्यक्तित्व को लेकर बिहार के लोगों के नाम इमोशनल चिट्टी सियासी गुल खिला सकता है।
ये है तेजस्वी की लिखी चिट्ठी :
प्रिय बिहारवासियों,
आज पिता जी से उनके अवतरण दिवस पर मिलने रांची आया हूं। उनके जन्मदिवस पर अलग-अलग तरह के भाव मन में आ रहे हैं। मन थोड़ा व्यथित है कि वो हमसे दूर अकेले संघर्ष कर रहें है और थोड़ा सशक्त भी क्योंकि उनका जन्मदिन मुझे और अधिक प्रेरणा देता है। उनकी तरह ही मुखरता से गरीब-गुरबों, शोषित, पीड़ित, उपेक्षित और वंचितों की लड़ाई बिना सिद्धांतों से समझौता किए लड़ूं।
अपने पिता के जीवन की यात्रा पर जब भी नज़र डालता हूं तो ऐसा लगता है कि क्या अद्भुत और बिरला जज्बा लिए हैं।
आदरणीय लालू जी, ऊंच-नीच के विरुद्ध लड़ाई लड़े, बिहार की तमाम सामाजिक विसंगतियों को ख़त्म किया। गरीब के हक़ का झंडा बुलंद किया और चाहे कितनी भी विषम परिस्थिति आई, कभी घुटने नहीं टेके, कभी अपने सिद्धांतों से समझौता नहीं किया।
विषम हालात अच्छे-अच्छों को तोड़ देते हैं। षडयंत्र व समर्पण करने को मजबूर कर देता है। वर्षों का दुष्प्रचार इंसान का आत्मविश्वास छीन लेता है, लेकिन ये भी अनुकरणीय है कि विषम हालात, अनगिनत षडयंत्र और लगातार दुष्प्रचार भी लालू जी के हौसले को तोड़ नहीं पाए, उनके सिद्धांतों को झुका नहीं पाए, जनसेवा के लिए समर्पित उनके क़दमों को रोक नहीं पाए अपितु उनके हौसलों को मजबूत ही किया।
वो लड़ रहे हैं आज भी, बिना थके, बिना झुके... और मुझे गर्व है कि बिहार के लोगों के हक़ के लिए उनकी इस लड़ाई में मैं भी सहभागी बना हूं। इसलिए आज उनके जन्मदिन पर मैं यह प्रण लेता हूं कि बिहार के युवाओं और गरीबों को हर हालत में न्याय दिला कर रहूंगा।
बस...बहुत हो चुका जातिवाद, सम्प्रदायवाद। बहुत हो चुकी बीमारी के दौरान फैली अव्यवस्था से मौतें, बहुत देख ली गरीब ने रोटी की भूख, बहुत रह लिया हमारा युवा बेरोजगार, बहुत सह लिया हमारे भाइयों और उनके परिवारों ने पलायन का दर्द, कुशासन ने छीन ली बहुत जानें।
सड़कों पर बहुत बेहाल हो चुका बिहारी...सरकार ने 15 साल राज करते-करते बहुत ठीकरा फोड़ लिया दूसरों पर...अब और नहीं होने दूंगा। भुखमरी से, अपराध से, अव्यवस्था से, अन्याय से अब जान नहीं खोने दूंगा।
आज पिता जी के 73वें जन्मदिन पर हम कम से कम 73,000 गरीबों को खाना खिलाएंगे, उनके माथे से चिंता हटाएंगे और फिर पिता की प्रेरणा से ही बिहार को इस कठिन समय से निजात दिलाएंगे।
लालू जी की प्रेरणा से जो कदम बिहार की सेवा के लिए चल पड़े हैं वो कदम रुकेंगे नहीं, कभी थकेंगे नहीं!
आपका बेटा, आपका भाई
तेजस्वी यादव
Updated on:
11 Jun 2020 03:08 pm
Published on:
11 Jun 2020 02:12 pm
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