
मंदिरों में प्रवेश के लिए ड्रेस कोड, छोटे कपड़ों में नहीं आ सकेंगी लड़कियां
Dress code For Temples: अब शॉर्ट्स, टी-शर्ट जैसे छोटे कपड़े पहनकर लड़कियां मंदिरों में प्रवेश नहीं कर सकेंगी। मंदिर प्रबंधन ने प्रवेश के लिए ड्रेस कोड लागू किया है। मामला देवभूमि उत्तराखंड का है। यहां के तीन बड़े मंदिरों में महिलाओं और युवतियों के लिए ड्रेस कोड लागू किया है। इन तीनों मंदिरों में महिलाएं और युवतियां छोटे कपड़े पहनकर नहीं आ सकती हैं। दरअसल, हरिद्वार के दक्ष, पौड़ी के नीलकंठ और देहरादून के टपकेश्वर महादेव मंदिर में महिलाओं के छोटे कपड़े पहनकर आने पर प्रतिबंध लगाया गया है। मंदिर प्रबंधन की तरफ से अपील की गई है कि वो मर्यादित ड्रेस कोड में ही मंदिर में आएं।
इन तीन मंदिरों ने लागू किया ड्रेस कोड
मिली जानकारी के अनुसार ये तीनों मंदिर महानिवार्णी अखाड़े के अधीन आते हैं। पहला मंदिर हरिद्वार के कनखल में स्थित दक्ष प्रजापति मंदिर और दूसरा पौड़ी जिले में स्थित नीलकंठ महादेव का मंदिर है। वहीं तीसरा मंदिर देहरादून में स्थित टपकेश्वर महादेव मंदिर है। महानिवार्णी अखाड़े की तरफ से महिलाओं और युवतियों से मर्यादित कपड़ों में मंदिर आने की अपील की गई है।
देवालय आत्मरंजन का स्थान न कि मनोरंजन का
अपील में कहा गया कि अगर वो मंदिर पूजा पाठ के लिए आ रही हैं, तो भारतीय सभ्यता के अनुसार कपड़े पहन कर आएं। तभी उन्हें मंदिर में प्रवेश मिलेगा। महानिवार्णी अखाड़े के सचिव और अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत रवींद्र पुरी ने बताया कि अखाड़े की ओर से मंदिर में आने वाले श्रद्धालुओं से अपील की गई है कि देवालय एक आत्मरंजन का स्थान है न कि मनोरंजन का।
शरीर का 80 प्रतिशत हिस्सा ढककर आएं मंदिर
महंत ने युवतियों और महिलाओं के साथ उनके परिजनों से भी अपील की है कि वे शरीर को कम से कम 80 प्रतिशत तक ढककर ही मंदिरों में आएं। उन्होंने बताया कि दक्षिण भारत और महाराष्ट्र के मंदिरों में तो यह व्यवस्था पहले से ही लागू है। अब यह व्यवस्था यहां भी लागू की जा रही है, ताकि मंदिर में आने वाले श्रद्धालुओं को किसी असहज स्थिति का सामना न करना पड़े। यूपी के भी कई मंदिरों ने इस तरह के नियम लागू किए गए हैं।
कांवड़ मेले को देखते हुए जारी की अपील
महंत ने कहा कि युवा अवस्था के बच्चे हर तरह की बुराई के तरफ आकर्षित होते हैं। इस पर अंकुश लगना आवश्यक है। बच्चों के परिवार के लोग उनको समझाएं। श्रीमहंत ने कहा कि पहले भी कई बार शरीर ढके कपड़े पहनकर मंदिर आने की अपील कर चुके हैं लेकिन अब कांवड़ मेले को देखते हुए फिर से अपील जारी कर रहे हैं। मंदिर में 80 फीसदी शरीर ढके कपड़े पहनकर आने वालों को ही दर्शन करने दिए जाएंगे।
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Updated on:
05 Jun 2023 06:42 am
Published on:
04 Jun 2023 08:39 pm
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