
सामने आई माउंट एवरेस्ट की नई ऊंचाई
नई दिल्ली। दुनिया की सबसे ऊंची चोटी कहे जाने वाले माउंट एवरेस्ट ( Mount Everest ) की नई ऊंचाई सामने आई है। नेपाल और चीन ने संयुक्त रूप से माउंट एवरेंस्ट की संशोधित ऊंचाई का ऐलान किया है। इसके साथ ही एवरेस्ट की ऊंचाई को लेकर उठ रहे विवाद भी विराम लग चुका है।
चीन और नेपाल के मुताबिक अब माउंट एवरेस्ट की नई ऊंचाई 8848.86 मीटर है। एवरेस्ट की नई ऊंचाई का ऐलान नेपाल के विदेश मंत्री प्रदीप ज्ञवली और चीन के विदेश मंत्री वांग यी ने संयुक्त रूप से किया।
ऊंचाई में हुआ इतना इजाफा
माउंट एवरेस्ट की संशोधित ऊंचाई के साथ ही अब इस चोटी और ऊंची हो गई है। वर्ष 2005 में जहां माउंट एवरेस्ट की ऊंचाई 8844.43 मीटर थी, वहीं अब यह बढ़कर 8848.86 हो गई है। यानी अब एवरेस्ट पहले की तुलना में 2.8 फीट लंबा है।
ये था ऊंचाई को लेकर विवाद
दरअसल 2015 में नेपाल में आए भयंकर भूकंप के बाद व्यापक रूप से यह माना जाता था कि माउंट एवरेस्ट की ऊंचाई 8,848 मीटर नहीं रही है। यही वजह है कि नेपाल ने तय किया कि दुनिया के सबसे ऊंचे शिखर की ऊंचाई मापने की तैयारी की जाए। नेपाल ने चीन के साथ मिलकर इस काम को अंजाम दिया।
चीन ने पिछले दिनों 30 सदस्यीय सर्वेक्षण दल को रवाना किया था। यह चीनी दल माउंट चोमोलुंगमा बेस कैंप से एवरेस्ट पर चढ़ाई के लिए रवाना हुआ था। चीन और नेपाल ने संयुक्त रूप से माउंट एवरेस्ट की नई नापी गई ऊंचाई के बाद इसे दुनिया की सबसे ऊंची चोटी घोषित किया है।
ऐसे मापी गई ऊंचाई
एवरेस्ट के शिखर पर पहुंचकर चीनी और नेपाली दल ने ग्लोबल नैविगेशन सैटलाइट और ग्रैवीमीटर की मदद से विश्व की सबसे ऊंची चोटी माउंट एवरेस्ट की ऊंचाई नापी।
दल में ये लोग थे शामिल
एवरेस्ट पर चढ़ाई करने वाले इस दल में पेशेवर पर्वतारोही और चीन के प्राकृतिक संसाधन मंत्रालय सर्वेक्षक शामिल थे।
अब तक 6 बार मापी गई ऊंचाई
चीन के सर्वेक्षण दल ने अब तक 6 बार दुनिया की सबसे ऊंची चोटी की ऊंचाई को मापा है। शुरुआत वर्ष 1949 में स्थापना के साथ ही हुई थी। तब इस दल की ओर से पहली एवरेस्ट की ऊंचाई मापी गई थी। इसके बाद चीन ने वर्ष 1975 और 2005 में एवरेस्ट की ऊंचाई जारी की थी। वर्ष 1975 में एवरेस्ट की ऊंचाई 8,848.13 मीटर और वर्ष 2005 में 8,844.43 मीटर थी।
Published on:
08 Dec 2020 02:48 pm
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