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ईरान के बाद इराक से खफा अमरीका, ट्रंप ने दी कड़े प्रतिबंध की धमकी

locationनई दिल्लीPublished: Jan 07, 2020 09:24:51 am

Submitted by:

Shweta Singh

इराकी संसद में रविवार को पारित हुआ कानून
प्रस्ताव पारित करने के बाद अमरीका ने इराक पर कड़े प्रतिबंध ( US Sanctions on Iraq ) लगाने की धमकी

Donald Trump on Iraq

Donald Trump on Iraq

वाशिंगटन। अमरीका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने युद्धग्रस्त देश इराक की संसद द्वारा अमरीकी और अन्य विदेशी सैनिकों को इराक से वापस भेजने का प्रस्ताव पारित करने के बाद इराक पर कड़े प्रतिबंध ( US Sanctions on iraq ) लगाने की धमकी दी है। इराकी संसद ने सरकार से अमरीका और अन्य देशों के सैनिकों को वापस भेजने का आग्रह किया है।

‘एयर बेस का भुगतान करे इराक तब छोड़ेंगे देश’

विमान एयरफोर्स वन में सवार ट्रंप ने रविवार को पत्रकारों से कहा, ‘अगर वे हमें छोड़ने के लिए कहते हैं, अगर हम इसे बहुत ही दोस्ताना तरीके से नहीं करते हैं, तो हम उन पर इतने कड़े प्रतिबंध लगाएंगे, जिसे उन्होंने पहले कभी नहीं देखा होगा।’ उन्होंने कहा, ‘हमारे पास बहुत ही असाधारण महंगा एयर बेस है। इसे बनाने में अरबों डॉलर का खर्च आता है.. हम तब तक नहीं छोड़ेंगे, जब तक वे हमें इसके लिए भुगतान नहीं करते।’

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इराकी संसद में रविवार को पारित हुआ कानून

मीडिया रिपोर्ट में कहा जा रहा है कि इराकी संसद द्वारा रविवार को एक मसौदा कानून पारित किया गया था। इसमें सरकार को विदेशी बलों की उपस्थिति को समाप्त करने और उन्हें इराकी वायु और जल क्षेत्र का उपयोग करने से रोकने के लिए कहा गया, इसके बाद ट्रंप की यह चेतावनी सामने आई है। इराकी कार्यवाहक प्रधानमंत्री अदेल अब्दुल महदी ने संसद के सत्र में भाग लिया और सांसदों को संबोधित करते हुए कहा कि ‘इराक से अमरीकी सेना का प्रस्थान इराक और अमरीका के लाभ में होगा, विशेष रूप से नवीनतम घटनाक्रम के बाद।’

अमरीकी विदेश विभाग ने जाहिर की निराशा

हालांकि, इसके जवाब में अमरीकी विदेश विभाग ने कहा कि इराकी संसद द्वारा उठाए गए कदम से अमरीका निराश है। बयान में कहा गया, ‘हम इराकी नेताओं से दोनों देशों के बीच जारी आर्थिक और सुरक्षा संबंधों के महत्व और IS (इस्लामिक स्टेट) को हराने के लिए वैश्विक गठबंधन की निरंतर उपस्थिति की निरंतरता के महत्व पर पुनर्विचार करने का आग्रह करते हैं।’

कैसे शुरू हुआ विवाद?

इराकी संसद सत्र बगदाद अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डे के पास एक काफिले पर अमरीकी ड्रोन हमले के दो दिन बाद आयोजित हुआ। हमले में ईरान की इस्लामिक रिवोल्यूशन गार्डस कॉर्प्स के कुद्स फोर्स के कमांडर कासिम सुलेमानी और इराक की पॉपुलर मोबलाइजेशन फोर्सेज या हशद शाबी के उपप्रमुख अबू महदी अल-मुहांदिस मारे गए थे। IS आतंकवादियों के खिलाफ लड़ाई में इराकी बलों का सहयोग करने के लिए, मुख्य रूप से स्थानीय बलों को प्रशिक्षण और सलाह देने के लिए 5,000 से अधिक अमरीकी सैनिकों को इराक में तैनात किया गया है।

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