वह लॉकडाउन (Lockdown) को लेकर बिल्कुल भी गंभीर नहीं थे। यहां तक की मास्क पहनने को लेकर भी उन्होंने विरोध जताया है। मगर अब जब अमरीका में ये महामारी बेकाबू हो चुकी है, ट्रंप पहली बार एक अस्पताल के दौरे पर मास्क (Mask) पहनकर पहुंचे। हाल ही में उन्होंने मास्क पहने एक तस्वीर सोशल मीडिया (Social Media) पर शेयर कर खुद को देशभक्त बता डाला है।
ट्रंप आखिरकार पार्टी के दबाव में आकर वे मास्क पहनने को राजी हो गए। मास्क का विरोध करने के कारण वह कई बार सुर्खियों में रहे। कई बार विपक्ष एवं विशेषज्ञों की आलोचनाओं के शिकार हुए। इसके बावजूद उन्होंने मास्क नहीं पहना और इसका विरोध किया। तुलसा की एक चुनावी रैली में वह बिना मास्क के दिखाई दिए। रैली में उनके समर्थकों ने भी मास्क नहीं पहना था। इसके चलते विपक्ष ने ट्रंप की निंदा की थी।
ट्रंप ने मास्क वाली तस्वीर सोशल मीडिया पर पोस्ट की सोमवार को ट्रंप ने फेस मास्क पहनकर सोशल मीडिया पर अपनी एक तस्वीर पोस्ट की। उन्होंने कहा कि यह देशभक्ति की निशानी है। उन्होंने लिखा कि मुझसे ज्यादा बड़ा देशभक्त कोई नहीं है, आपका पसंदीदा राष्ट्रपति। उन्होंने अपनी फोटो के साथ कैप्शन जोड़ते हुए यह भी लिखा कि देश अदृश्य चाइना वारयस को हराने के प्रयास कर रहा है। गौरतलब है कि अमरीका में कोरोना प्रसार को रोकने को लेकर यूएस सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन (सीडीसी) ने तीन माह पहले ही सार्वजनिक रूप से मास्क पहनने की सिफारिश की थी। इसके बावजूद ट्रंप मास्क का लगातार विरोध कर रहे थे।
रिपब्लिकन पार्टी का बढ़ा दबाव अमरीका में कोरोना रोगियों की संख्या में लगातार बढ़ोतरी हो रही है। रिपब्लिकन पार्टी की ओर से राष्ट्रपति ट्रंप पर मास्क पहनने का दबाव बनाया गया। यह दबाव ऐसे समय आया जब ट्रंप लगातार कोरोना प्रोटाकॉल का उल्लंघन कर रहे थे। कई राज्यों और विशेषज्ञों ने पाबंदियों में ढील के कारण कोरोना प्रसार के लिए जिम्मेदार माना है। फिलहाल ट्रंप ने अपनी पार्टी की बात को मानने को तैयार हो गए हैं। वह सार्वजिनक रूप से मास्क पहनने को तैयार हैं। इस दबाव के आगे मास्क को लेकर राष्ट्रपति ट्रंप के सुर बदल गए।