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मेडिकल उपकरणों की कमी से जूझ रहा अमरीका, करीब 8000 वेंटिलेटर अन्य देशों को देगा

Published: May 09, 2020 03:48:35 pm

Submitted by:

Mohit Saxena

Highlights

अमरीकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (donald trump) के ऐलान पर चिकित्सा कर्मियों ने हैरानी जताई है।
विश्व युद्ध के बाद यह पहला मौका है कि वेंटिलेटर की डिमांड बढ़ रही है।
इन वेंटिलेटरों (ventilator) को जुलाई अंत तक विदेशों में पहुंचाया जाएगा।

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वाशिंगटन। अमरीका में कोरोना वायरस (coronavirus) अभी भी कहर बरपा रहा है। यहां पर मेडिकल उपकरणों की कमी बनी हुई है। इसके बावजूद अमरीकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (donald trump) का कहना वह करीब 8000 वेंटिलेटर को बाहरी देशों को आयात करने की योजना बना रहे हैं। हाल ही में ट्रंप ने अपने बयान में अमरीका को वेंटिलेटर का ‘राजा’ बताया था। हालांकि अमरीका खुद ही वेंटिलेटर की कमी से जूझ रहा है। इन वेंटिलेटरों को जुलाई अंत तक विदेशों में पहुंचाएगा।
वहीं इस बात से अमरीकी चिकित्सा कर्मी हैरान हैं। उनका कहना है कि खुद अमरीका ही वेंटिलेटर की कमी से जूझ रहा है। ऐसे में अमरीका इतने वेंटिलेटरों का आयात कैसे कर सकता है। हालांकि वाइट हाउस ने अभी तक किसी तरह की सूची नहीं बनाई है कि कौन से देशों को इसे दिया जाएगा। एक प्रशासनिक अधिकारी ने अन्य देशों में स्वास्थ्य प्रणालियों का जायजा लेकर एक आंकड़ा प्रदान किया है। इसमें 8,000 वेंटिलेटरों को आयात करने की बात कही गई।
उनका कहना है कि हमारे पास नौ कारखाने हैं जो वेंटिलेटर बना रहे हैं। उन्होंने बताया कि द्वितीय विश्व युद्ध के बाद से ऐसा कुछ भी नहीं हुआ जब वेंटिलेटर की जरूरत सबसे अधिक देखी गई है। यह पहला मौका है कि वेंटिलेटर की डिमांड बढ़ रही है। ट्रंप ने कहा कि इस मशीन को कुछ देशों को दिया जा रहा है। यह स्पष्ट है कि राष्ट्र वेंटिलेटर के लिए भुगतान करेंगे, जिसकी कीमत मॉडल के आधार पर 5,000 डॉलर से 30,000 डॉलर तक होगी। इससे पहले ट्रंप ने इसका भुगतान न लेने का मन बनाया था।

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