
राम मंदिर-बाबरी मस्जिद पर आजम खान ने दिया बड़ा बयान, मुस्लिम नेताओं से कर दी यह अपील
रामपुर. राम मंदिर और बाबरी मस्जिद मामले में सुनवाई की तारीख आगे बढ़ने के साथ ही इस मुद्दे पर राजनीति तेज हो गई है। संघ परिवार और भाजपा नेता जहां इस मुद्दे पर अध्यादेश लाकर मंदिर बनाने को लेकर बयानबाजी कर रहे हैं। वहीं, भाजपा के नेता और केन्द्र सरकार में मंत्री मुसलमानों को राम मंदिर के आड़े आने पर अंजाम भुगतने की धमकियां दे रहे हैं। ऐसे माहौल में समाजवादी पार्टी के नेता आजम खान ने इस मामले में बिल्कुल ही सधी हुई प्रतिक्रिया दी है। पत्रकारों से राम मंदिर के मुददे पर बोलते हुए आजम खां ने कहा है कि मुस्लिम लीडरों को राममंदिर की मुखालफत करना और इस मुद्दे पर राय देना बंद कर देना चाहिए। जो लोग अध्यादेश लाने की बातें करते हैं या दूसरे पक्ष को उकसाने वाले बयान देते हैं। दअसल, वह आरएसएस के लिए काम कर रहे हैं।
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इसके बाद उन्होंने तंज भरे लहजे में कहा कि जब मस्जिद गिरी थी, तब और अब जब कुछ लोग वहां मंदिर बनाना चाहते हैं तो भी यही कानून है। कौन रोकने वाला है, या किसने रोका है? कौन मुसलमान आया रोकने के लिए? किसी ने भी नहीं रोका और न ही कोई रोकने जा रहा है। कहां विवाद है? यह कहना मुसलमानों को या रोकने वालेां को अंजाम भुगतना पड़ेगा तो सुप्रीम कोर्ट ने रोका है। तारीख तो सुप्रीम कोर्ट ने बदली है। तो क्या मंत्री जी ने जो कुछ कहा, वो सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस के लिए तो नहीं कहा है? हमने या किसी और मुसलमान ने नहीं कहा है मंदिर निर्माण रोकने के लिए। अगर यह अदालत की अवमानना होती है तो अदालत को स्वतः संज्ञान लेना चाहिए। वहीं, साधू संतों की पहल वाले बयान पर उन्होंने कहा कि जो चाहें करें, किसने रोका है? 6 दिसम्बर को किस कानून ने रोका था, जो आज रोक रहें हैं? जो करना है सो करें!
Published on:
30 Oct 2018 08:58 pm
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