
Good roads
मुंबई। बॉम्बे उच्च
न्यायालय ने कहा कि अच्छी सड़कें नागरिकों का मौलिक अधिकार हैं और गड्ढों से मुक्त
सड़कें उपलब्ध कराना राज्य सरकार का वैधानिक दायित्व है। न्यायमूर्ति एएस ओका व
न्यायमूर्ति सीवी भदांग की खंडपीठ ने जनहित याचिका पर विस्तृत आदेश पारित करते हुए
यह व्यवस्था दी।
अनुच्छेद 21 का उल्लंघन
याचिका में गुरूवार को
राज्य में सड़कों की खराब स्थिति और गड्ढा मुक्त सड़कों के कारण होने वाली सड़क
दुर्घटनाओं में लोगों के मारे जाने के बारे में बताया था। अदालत ने कहा कि यह सही
समय है, जब सभी संबंधित पक्ष स्पष्ट रूप से समझें कि उचित ढंग से रख-रखाव वाली
सड़कों का अधिकार भारत के संविधान के अनुच्छेद 21 में मौजूद मौलिक अधिकारों का
हिस्सा है और उसके उल्लंघन से कोई नुकसान होने पर, नागरिकों को क्षतिपूर्ति प्राप्त
करने का अधिकार है।
6 जुलाई तक सौंपी जाए रिपोर्ट
अदालत ने बीएमसी,
महाराष्ट्र राज्य मार्ग विकास निगम, मुंबई महानगर क्षेत्र विकास प्राधिकरण, मुंबई
पोर्ट ट्रस्ट और अन्य जैसे विभाग जिनका शहर की सड़कों पर नियंत्रण है, को यह
सुनिश्चित करने का निर्देश दिया कि मानसून शुरू होने से पहले गड्ढों की मरमम्मत की
जाए और छह जुलाई तक अनुपालन रिपोर्ट सौंपी जाए। अदालत ने सभी संबंधित विभागों को
ऎसा तंत्र स्थापित करने का निर्देश दिया, जिससे नागरिक सड़कों की खराब हालत के बारे
में शिकायत दे पाएं। अदालत इस मामले में अब 10 जुलाई को सुनवाई करेगी।
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