
महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव से चंद महीने पहले राज्य में अंदर खाने सियासी खिचड़ी पक रही है। एनसीपी (अजित पवार) के वरिष्ठ नेता छगन भुजबल ने सोमवार को एनसीपी (शरदचंद्र पवार) प्रमुख शरद पवार से मुंबई में उनके आवास पर अचानक मुलाकात की। सियासी गलियारों में इस मुलाकात के कई मायने निकाले जा रहे है। हालांकि महाराष्ट्र सरकार में मंत्री भुजबल ने दावा किया कि उन्होंने सीनियर पवार के साथ मराठा और ओबीसी आरक्षण के मुद्दे पर चर्चा की है।
डिप्टी सीएम अजित पवार की अगुवाई वाली एनसीपी के ओबीसी नेता भुजबल आज सुबह शरद पवार के मुंबई स्थित 'सिल्वर ओक' आवास पर पहुंचे थे। खबर है कि भुजबल को पवार से मिलने के लिए काफी इंतजार करना पड़ा था।
छगन भुजबल ने कहा, "शरद पवार राज्य के वरिष्ठ नेता हैं जो अलग-अलग जाति के घटकों के जीवन को जानते हैं। मैंने उनसे मराठा-ओबीसी के आरक्षण विवाद में मध्यस्थता करने की बात कही है... नहीं तो आगे जाकर स्थिति बिगड़ जाएगी..उन्होंने कहा कि वे दो दिनों में एकनाथ शिंदे व अन्य नेताओं के साथ इस मामले पर बात करेंगे..."
83 वर्षीय पवार से मुलाकात के बाद पत्रकारों से बातचीत में भुजबल ने कहा कि उनकी पवार के साथ करीब डेढ़ घंटे तक बैठक हुई। उन्होंने कहा, “मैं ओबीसी आरक्षण के लिए पीएम मोदी, गृहमंत्री अमित शाह या विपक्ष के नेता राहुल गांधी से भी मिल सकता हूं, मैं इस मुद्दे को हल करने के लिए कुछ भी करने को तैयार हूं..."
इस मुलाकात पर शरद पवार की पार्टी के नेता जितेंद्र आव्हाड ने कहा, यह हमारे नेता की उदारता को दिखाता है कि कैसे वह सार्वजनिक क्षेत्र में भी विपरीत विचार रखने वाले लोगों से मिलते है और उन्हें समय देते हैं।
रिपोर्ट्स की मानें तो वरिष्ठ नेता छगन भुजबल को अब लग रहा है कि एनसीपी में उनकी बात नहीं सुनी जा रही है। वह अजित पवार खेमे में तो हैं, लेकिन पार्टी के भीतर राजनीतिक रूप से अलग-थलग पड़ गए हैं। दरअसल, भुजबल चाहते हैं कि मराठों को ओबीसी कोटे में आरक्षण न दिया जाए, लेकिन इस पर शिंदे सरकार का रुख उनके उलट है।
Updated on:
15 Jul 2024 10:00 pm
Published on:
15 Jul 2024 09:54 pm
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