जल्द शुरू होगी बीबीडी चॉल के पुनर्विकास की योजना
संस्था के अध्यक्ष ने फिर मांगा समय…विदित हो कि म्हाडा ने अभी तक एक अलग बैठक नहीं बुलाई है। पहले पूर्व सीएम देवेंद्र फडणवीस के पास समय न होने के चलते उस समय बैठक आयोजित नहीं की जा सकी। वहीं संस्था के अध्यक्ष नंदू पोयरेकर की माने तो अब हम उद्धव ठाकरे के साथ पत्राचार कर रहे हैं, ताकि बैठक के लिए फिर से समय मांग सकें। वहीं जितने स्टॉल की जगह है उतने ही स्टॉल की जगह लोगों की ओर से मांग की जा रही है। लेकिन म्हाडा ने एनएम जोशी मार्ग में निवासियों और वाणिज्यिक घर धारकों के साथ एक समझौता किया है। उन्हें वैकल्पिक तौर पर ट्रांजिट कैम्पों में भी स्थानांतरित किया गया है, लेकिन स्टॉल धारकों के लिए अभी तक किसी भी तरह का कोई अनुबंध या बातचीत नहीं की गई।
स्टाल धारकों में से कई 1980 से विभिन्न व्यवसायों में अपने स्टालों के माध्यम से यहां सेवा दे रहे हैं। उनमें से कई की तीसरी पीढ़ी भी स्टाल का काम ही संभाल रही है, भले ही स्टाल धारक वर्षों से यहां रहते हैं, लेकिन चुनौती अब उनके सामने उनके लायक साबित होने की है। बीडीडी चॉल साइटों पर लोक निर्माण विभाग की ओर से लगातार कोई सर्वेक्षण नहीं किया गया है। इसी तरह अनधिकृत स्टालों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई है। ऐसा भी कोई तरीका नहीं है कि इस स्थान के स्टॉल धारकों को जुर्माना वसूल कर रसीद दी गई हो। इसलिए कई स्टॉल धारकों के सामने दस्तावेज की कठिनाई बहुत बड़ी है।